Manish Murder Case: जांच करने गोरखपुर पहुंची सीबीआइ, प्रत्यक्षदर्शी और गवाहों से होगी पूछताछ
मनीष गुप्ता हत्याकांड की जांच करने सीबीआइ गोरखपुर पहुंच गई है। टीम रामगढ़ताल थाने पहुंची जहां दो घंटे से अधिक देर तक रही। एफआइआर की कापी व डिटेल लेने के बाद थाना परिसर में खड़ी सरकारी जीप का मुआयना किया।
गोरखपुर, जागरण संवाददाता। मनीष गुप्ता हत्याकांड की जांच करने सीबीआइ (सेंट्रल ब्यूरो आफ इन्वेस्टीगेशन) की छह सदस्यीय टीम लखनऊ से गोरखपुर पहुंच गई है। पुलिस लाइंस से गाड़ी लेने के बाद टीम रामगढ़ताल थाने पहुंची जहां दो घंटे से अधिक देर तक रही। एफआइआर की कापी व डिटेल लेने के बाद थाना परिसर में खड़ी सरकारी जीप का मुआयना किया। सीबीआइ के गोरखपुर पहुंचने की सूचना के बाद मनीष हत्याकांड को लेकर जिले में फिर से सरगर्मी बढ़ गई है।
पुलिस महकमे में हड़कंप
सीबीआइ इंस्पेक्टर रामगढ़ताल थाना गए। वहां प्रभारी निरीक्षक सुशील शुक्ला से घटनाक्रम की जानकारी लेने के बाद टीम ने थाने में जब्त करके रखी गई सरकारी जीप का मुआयना किया। थाने की जीप से ही हत्यारोपित इंस्पेक्टर जेएन सिंह व अन्य पुलिसकर्मी होटल से मानसी हास्पिटल फिर मेडिकल कालेज ले गए थे। एसआइटी कानपुर के विवेचक ने नमूना एकत्र करने के बाद जीप को कब्जे में लेकर थाने में खड़ा करा दिया था, तबसे सरकारी जीप थानेदार आवास के सामने खड़ी है। टीम होटल कृष्णा पैलेस, हास्पिटल और मेडिकल कालेज भी जाएगी। सीबीआइ के जांच शुरू करने के बाद से एक फिर पुलिस व प्रशासनिक महकमे की हड़कंप मचा है।
21 लोगों को बनाया गया है गवाह
सीबीआइ की टीम मनीष हत्याकांड के प्रत्यक्षदर्शी और गवाहों से पूछताछ करेगी। घटना के समय तारामंडल के होटल कृष्णा पैलेस में मनीष के अलावा हरियाणा के रहने वाले उसके दोस्त हरबीर व प्रदीप थे। कानपुर एसआइटी ने अपनी जांच में रामगढ़ताल थाने पर तैनात पुलिसकर्मियों के अलावा होटल, मानसी हास्पिटल व मेडिकल कालेज के 21 लोगों को गवाह बनाया था, जिनका बयान न्यायालय में दर्ज कराने की तैयारी चल रही थी। लेकिन इससे पहले ही जांच सीबीआइ के हाथ चली गई।