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डांडिया में पहुंची बालीवुड सिंगर मोना भट्ट, कहा-इसके बिना गायकी की दुनिया में सिक्‍का जमाना कठिन Gorakhpur News

नवांकुरों से यह अपील की कि वह लोकप्रियता की जल्दबाजी में रियाज और दक्षता को दरकिनार कभी न करें। क्योंकि इसी से आगे चलकर उनकी लोकप्रियता की पृष्ठभूमि तैयार होगी।

By Satish ShuklaEdited By: Published: Thu, 10 Oct 2019 08:20 PM (IST)Updated: Thu, 10 Oct 2019 08:20 PM (IST)
डांडिया में पहुंची बालीवुड सिंगर मोना भट्ट, कहा-इसके बिना गायकी की दुनिया में सिक्‍का जमाना कठिन Gorakhpur News
डांडिया में पहुंची बालीवुड सिंगर मोना भट्ट, कहा-इसके बिना गायकी की दुनिया में सिक्‍का जमाना कठिन Gorakhpur News

गोरखपुर, जेएनएन। संगीत में अकादमिक रूप से ट्रेंड बालीवुड सिंगर मोना भट्ट का मानना है कि बालीवुड संगीत की दुनिया में सिक्का जमाने के लिए शास्त्रीय संगीत का ज्ञान बेहद जरूरी है। संगीत के शास्त्रीय ज्ञान से गायकी का दायरा बढ़ता है। अकादमिक ट्रेनिंग सुगम संगीत की दुनिया में लंबे समय तक कायम रहने में मदद करती है। दैनिक जागरण के डांडिया-रास-2019 में हिस्सा लेने के लिए गुरुवार को गोरखपुर पहुंची सिंगर मोना जागरण से बातचीत में अपने सांगीतिक अनुभव को साझा कर रही थीं।

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संगीत के लिए मंच बेहद जरूरी

सारेगामापा जैसे रियलिटी शो से बालीवुड तक पहुंची मोना शो के मंच को संगीत के भविष्य के लिए जरूरी मानती हैं। एक सवाल के जवाब में उन्होंने कहा कि रियलिटी शो के माध्यम से देश भर की प्रतिभाओं को अपने हुनर के प्रदर्शन का मौका मिल रहा है। अब वह समय चला गया जब प्रतिभाएं घरों तक सिमट कर रह जाती थीं। रियलिटी शो की एक और खूबी की चर्चा करते हुए मोना ने कहा कि इससे आज आम लोग भी संगीत की बारीकियों को समझने लगे हैं। घरों में संगीत के सुरों पर भी चर्चा होने लगी है।

ऐसे तैयार होगी लोकप्रियता की पृष्‍ठभूमि

इन सबके बीच उन्होंने संगीत के नवांकुरों से यह अपील की कि वह लोकप्रियता की जल्दबाजी में रियाज और दक्षता को दरकिनार कभी न करें। क्योंकि इसी से आगे चलकर उनकी लोकप्रियता की पृष्ठभूमि तैयार होगी। मातृभाषा कुमायूंनी और गढ़वाली के अलावा मराठी, गुजराती, बंगाली सहित आधा दर्जन से अधिक भाषाओं में अपनी गायकी के हुनर का प्रदर्शन कर चुकीं मोना से जब गायन में भाषा की बाधा पर सवाल किया गया तो उन्होंने कहा कि शुरुआती दौर में दिक्कत जरूर होती है लेकिन बाद में यह आदत का हिस्सा हो जाता है। हालांकि मोना ने बातचीत में यह स्वीकार किया कि अपनी मातृभाषा में गाए गीतों में भावना भरना ज्यादा आसान होता है।


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