चमोली से सूरज का शव आते ही घर में मचा कोहराम
चमोली त्रासदी - उत्तराखंड से निजी साधन से घर लाया गया शव - आठ दिन बाद बीते रविवार को बरामद हुआ था शव फोटो 16 पीएडी- 39 जासं. खड्डा
कुशीनगर: उत्तराखंड के चमोली में मची तबाही में लापता लोगों में शामिल खड्डा विकास खंड के गांव तिनपरसा निवासी सूरज कुशवाहा का शव मंगलवार को उनके पैतृक गांव लाया गया। शव आते ही घर में कोहराम मच गया। स्वजन की दशा देख मौजूद गांव के लोगों की भी आंखें नम हो गईं। दोपहर में कोतरहा पुल के समीप शव का अंतिम संस्कार किया गया। तहसीलदार डा.एसके राय ने परिवार को 25 हजार रुपये की आर्थिक सहायता दी और शासन से स्वीकृत मदद शीघ्र दिलाने का भरोसा दिया।
सुबह आठ बजे निजी साधन से स्वजन सूरज का शव लेकर घर पहुंचे। शव आते ही मां फूला देवी, पिता श्रीनिवास, बहन ममता व वंदना दहाड़ें मार कर रोने लगे। बड़ी संख्या में गांव के लोग जुट गए। आसपास के लोगों ने स्वजन को हिम्मत दी और जरूरी इंतजाम कर अंतिम संस्कार कराया।
सात फरवरी को उत्तराखंड के चमोली जिले के तपोवन में निर्माणाधीन हाइड्रो प्रोजेक्ट में काम करते समय अचानक तबाही मची थी। इसमें सैकड़ों लोग लापता हो गए थे। सूरज निर्माण कर रही कंपनी में पोकलेन मशीन चलाते थे। वह उस समय ड्यूटी पर थे। घटना की जानकारी मिलने पर बड़े भाई उमेश व बहनोई हरिदर चमोली गए। आठ दिन बाद 14 फरवरी को रेस्क्यू टीम ने सूरज का शव बरामद किया। बड़े भाई उमेश ने शव की पहचान की और इसकी सूचना स्वजन को दी। स्थानीय प्रशासन ने डीएनए टेस्ट व पोस्टमार्टम कराने के बाद सोमवार को शव स्वजन को सौंप दिया, जिसके बाद निजी साधन से शव लेकर स्वजन घर आए। घर पहुंचते ही कोहराम मच गया। स्वजन बिलखने लगे।