Move to Jagran APP

गोरखपुर शहर की सभी मस्जिद एवं कब्रिस्तान होंगे रोशन, शब-ए-बरात 28 मार्च को

कोरोना महामारी की वजह से पिछले साल इबादत करने मस्जिद नहीं जा सके थे। कब्रिस्तानों को भी बंद रखा गया था। इस्लामिक कैलेंडर के शाबान माह की 14 तारीख को शब-ए-बरात मनाया जाता है। शब-ए-बरात का अर्थ छुटकारे की रात से है।

By Satish Chand ShuklaEdited By: Published: Mon, 15 Mar 2021 08:30 PM (IST)Updated: Mon, 15 Mar 2021 08:30 PM (IST)
शब-ण्‍-बरात के यंबंस में मस्जिद का फाइल फोटो, जेएनएन।

गोरखपुर, जेएनएन। गुनाहों से तौबा और मगफिरत (माफी) की रात शब-ए-बरात की तैयारियां शुरू हो गई है। रविवार को शाबान माह के चांद की तस्दीक हुई थी। 28 मार्च को शब-ए-बरात मनाया जाएगा। शहर की सभी मस्जिदों एवं कब्रिस्तानों को रोशन किया जाएगा। इस दिन बड़ी संख्या में लोग न सिर्फ पूरी रात इबादत करते हैं बल्कि कब्रिस्तान में जाकर पूर्वजों की मगफिरत के लिए दुआ करते हैं।

loksabha election banner

कोरोना के कारण पिछले साल बंद थे कब्रिस्‍तान

कोरोना महामारी की वजह से पिछले साल इबादत करने मस्जिद नहीं जा सके थे। कब्रिस्तानों को भी बंद रखा गया था। इस्लामिक कैलेंडर के शाबान माह की 14 तारीख को शब-ए-बरात मनाया जाता है। शब-ए-बरात का अर्थ छुटकारे की रात से है। इस रात की बहुत अहमियत है। शब यानि रात, यह रात इबादत की रात है और अपने गुनाहों से माफी मांगी जाती है। बहुत से लोग इस दिन रोजा भी रखते हैं। इस दिन उन लोगों के लिए भी दुआ की जाती है जो दुनिया से विदा हो चुके हैं। उनके नाम पर गरीबों को खाना खिलाया जाता है।

घरों में चने की दाल या सूजी का हलवा बनता है हलवा

घरों में आमतौर पर चने की दाल या सूजी का हलवा बनता है, जिसे बांटा जाता है। कहा जाता है कि इस दिन पूरे साल का हिसाब होता है और अगले साल के काम तय किए जाते हैं। यानि कौन पैदा होगा, कौन मरेगा, किसे कितनी रोजी मिलेगी। इसलिए लोग पूरी रात जागकर इबादत करते हैं और गुनाहों से तौबा करते हैं। मौलाना जुनैद अहमद ने बताया कि इस रात की बहुत अहमियत है इसलिए फिजूल के कामों में वक्त बर्बाद करने के बजाए इबादत जोर देना चाहिए। वहीं उलमा ने शब-ए-बरात पर पटाखा फोड़ते और तेज बाइक चलाकर शोर न मचाने की अपील की है। उन्होंने कहा कि इस मुबारक दिन का ज्यादा वक्त इबादत और गुनाहों तौबा करने में लगाएं।


Jagran.com अब whatsapp चैनल पर भी उपलब्ध है। आज ही फॉलो करें और पाएं महत्वपूर्ण खबरेंWhatsApp चैनल से जुड़ें
This website uses cookies or similar technologies to enhance your browsing experience and provide personalized recommendations. By continuing to use our website, you agree to our Privacy Policy and Cookie Policy.