अब घर बैठे बीमा कर सकेंगे LIC अभिकर्ता, ई-मेल से मिलेेगा बांड पेपर
LIC के आनंदा एप के जरिए अभिकर्ता घर बैठे पालिसीधारक का बीमा कर सकता है। यह पूरी तरह से पेपरलेस प्रणाली है। इसके जरिये घर से ही प्रीमियम का भी भुगतान हो सकता है और ई-मेल से बांड भी पालिसीधारक तक पहुंच जाएगा।
गोरखपुर, जेएनएन। भारतीय जीवन बीमा निगम तेजी से डिजिटलाइजेशन की ओर कदम बढ़ रहा है। अभी पिछले माह निगम ने आनंदा (आत्मनिर्भर अभिकर्ता न्यू बिजनेस डिजिटल एप) लांच किया है, जिसके जरिए अभिकर्ता घर बैठे पालिसीधारक का बीमा कर सकता है। यह पूरी तरह से पेपरलेस प्रणाली है। इसके जरिये घर से ही प्रीमियम का भी भुगतान हो सकता है और ई-मेल से बांड भी पालिसीधारक तक पहुंच जाएगा।
एलआइसी के प्रबंधक निदेशक ने दी जानकारी
यह जानकारी एलआइसी के प्रबंधक निदेशक राजकुमार ने दी। वह गोरखपुर में पत्रकारों से बातचीत कर रहे थे। उन्होंने कहा कि यह एप आधार आधारित ई-प्रमाणीकरण का उपयोग करके कागज रहित केवाईसी की सुविधा की भी पेशकश करता है। आनंदा सिर्फ एलआइसी ही नहीं बल्कि भारतीय बीमा क्षेत्र में अपनी तरह का पहला एप है। उन्होंने कहा कि लॉकाडाउन के पहले 34 फीसद बीमाधारक अपने प्रीमियम का आनलाइन भुगतान करते थे, जो अब बढ़कर 46 फीसद हो गया है। अभी भी हमारा 72.27 फीसद कलेक्शन कार्यालय के बाहर होता है।
पालिसीधारकाें को यह सुविधा भी मिलेगी
प्रबंधन निदेशक ने बताया कि एलआइसी जल्द ही अपने पालिसीधारकाें को एक और सुविधा देने जा रही है। अधिक धनराशि का बीमा करने के दौरान पालिसीधारक का मेडिकल कराया जाता है। इसके लिए अब उन्हें डायग्नोस्टिक सेंटर जाने की जरूरत नहीं पड़ेगी। बल्कि सेंटर खुद घर जाकर ब्लड या स्टूल टेस्ट के लिए सेंपल ले जाएगा। इसके लिए निगम डायग्नोस्टिक सेंटरों से करार करेगा। यही नहीं वीडियो क्रांफ्रेसिंग के जरिए पालिसीधारक घर बैठे डाक्टर से जो बात करेगा वह वीडियो उसके आनलाइन फार्म के साथ अटैच हो जाएगा। आइआरडीए (बीमा विनियामक और विकास प्राधिकरण) ने भी इसकी सराहना की है।
एलआइसी ने देशभर में किए कोविड के 3892 क्लेम के सापेक्ष 137.22 करोड़ का भुगतान
उन्होंने बताया कि पूरे देश में कोविड के 3892 क्लेम आए हैं, जिसके सापेक्ष निगम ने 137.22 करोड़ का भुगतान किया है। उन्होंने कहा कि कोरोना महामारी के दौरान पालिसी विक्रय में गोरखपुर मंडल देश में अव्वल रहा। मंडल के दो लाख 33 हजार लोगों ने इस वित्तीय वर्ष में पालिसी लेकर अपना भविष्य सुरक्षित किया है। मंडल के नौ जनपदों के लोगों ने जीवन बीमा में 457 करोड़ का निवेश किया। पचास हजार से अधिक बंद पालिसियां चालू हुईं, जिसमें 120 करोड़ का निवेश किया गया।
साल के अंत तक लागू होगा ईडीएमएस
प्रबंधक निदेशक ने राजकुमार ने बताया कि जल्द ही पालिसीधारक ईडीएमएस (इलेक्ट्रानिक डाटा मैनेजमेंट सिस्टम) के जरिए देश के अंदर कही से भी अपना दावा ले सकेंगे। इसके लिए निगम द्वारा 425 करोड़ पन्नों के डिजिटलाइजेशन का कार्य पूर्ण कर लिया गया है। यानी 99 फीसद कार्य पूरा हो चुका है। शेष पूरा होते ही यह लागू हो जाएगा।