दलालों से बचने के लिए रेलवे की नई व्यवस्था, अब टिकट लेते बताना होगा यह नंबर Gorakhpur News
रेलवे ने दलालों से बचने के लिए अब नया तरीका शुरू कर दिया है। अब रेल यात्रियों को रेल काउंटरों पर भी आधार नंबर बताना पड़ेगा।
By Edited By: Published: Tue, 20 Aug 2019 09:21 AM (IST)Updated: Tue, 20 Aug 2019 09:41 AM (IST)
गोरखपुर, जेएनएन। अब रेलवे काउंटरों पर टिकट लेते समय भी आरक्षण आवेदन फार्म पर आधार नंबर लिखना होगा। रेलवे प्रशासन ने आरक्षित कार्यालयों (पीआरएस) में मिलने वाले आरक्षण आवेदन फार्मो में आधार नंबर के लिए एक वैकल्पिक कॉलम निर्धारित कर दिया है।
आवेदन फार्म में आवेदकों को पूरा पता के साथ अपना आधार नंबर भी भरना होगा। जानकारों के अनुसार इस नई व्यवस्था से पारदर्शिता बढ़ेगी। अवैध कारोबारी, दलाल टिकट और नाम में हेराफेरी नहीं कर पाएंगे। आधार नंबर से आवेदक की पहचान तुरंत हो जाएगी। जरूरत पड़ने पर आधार नंबर से कभी भी आवेदक या यात्री की पहचान सुनिश्चित की जा सकेगी। दरअसल, रेलवे प्रशासन ने आवेदन फार्म का प्रारूप बदल दिया है। फार्म पहले से लगभग डेढ़ गुना चौड़ा हो गया है। फार्म में गाड़ी संख्या और नाम आदि के लिए निर्धारित कालम बड़े और स्पष्ट कर दिए गए हैं। नाम 15 अक्षर से अधिक नहीं लिखना है।
ट्रेन नंबर, श्रेणी, दिनांक, गंतव्य और नाम के अलावा राष्ट्रीयता व लिंग लिखना अनिवार्य है। इसके अलावा रियायत वाले कॉलम को और बढ़ा दिया गया है। यात्री को रियायत के बारे जानकारी देनी होगी। इसके अलावा एक अतिरिक्त कॉलम हैं, जिसमें यात्री को बताना होगा कि उसे नीचे या ऊपर का बर्थ चाहिए। पांच से 12 साल के बच्चों की बर्थ आदि के बारे में भी जानकारी देनी होगी। फिलहाल, यात्रियों को रास्ते में निर्धारित पहचान पत्रों में से एक आधार कार्ड दिखाना पड़ता है। यात्रा के दौरान आरक्षित टिकट के यात्रियों को कोई एक पहचान पत्र दिखाना अनिवार्य होता है। जानकारों के अनुसार जल्द ही आवेदन फार्म में भी आधार नंबर अनिवार्य हो जाएगा।
काउंटर टिकट पर भी मिलेगी वैकल्पिक ट्रेन की सुविधा रेलवे अब काउंटर टिकट पर भी यात्रियों को वैकल्पिक ट्रेन की सुविधा मुहैया कराएगा। इसके लिए आरक्षण आवेदन फार्म में रेलवे ने एक और कॉलम बढ़ा दिया है। फार्म में वेटिंग सूची के यात्रियों से पूछा जा रहा है कि क्या वे वैकल्पिक ट्रेन में अपना टिकट शिफ्ट कराना चाहते हैं या नहीं। अगर कराना चाहते हैं तो आगे हां लिखना होगा। यह सुविधा ई टिकटों पर पहले से ही मिल रही है। विकल्प देने वाले यात्री का टिकट पीछे से आ रही ट्रेन में बर्थ खाली होने पर स्वत: कंफर्म हो जाएगा।
आवेदन फार्म में आवेदकों को पूरा पता के साथ अपना आधार नंबर भी भरना होगा। जानकारों के अनुसार इस नई व्यवस्था से पारदर्शिता बढ़ेगी। अवैध कारोबारी, दलाल टिकट और नाम में हेराफेरी नहीं कर पाएंगे। आधार नंबर से आवेदक की पहचान तुरंत हो जाएगी। जरूरत पड़ने पर आधार नंबर से कभी भी आवेदक या यात्री की पहचान सुनिश्चित की जा सकेगी। दरअसल, रेलवे प्रशासन ने आवेदन फार्म का प्रारूप बदल दिया है। फार्म पहले से लगभग डेढ़ गुना चौड़ा हो गया है। फार्म में गाड़ी संख्या और नाम आदि के लिए निर्धारित कालम बड़े और स्पष्ट कर दिए गए हैं। नाम 15 अक्षर से अधिक नहीं लिखना है।
ट्रेन नंबर, श्रेणी, दिनांक, गंतव्य और नाम के अलावा राष्ट्रीयता व लिंग लिखना अनिवार्य है। इसके अलावा रियायत वाले कॉलम को और बढ़ा दिया गया है। यात्री को रियायत के बारे जानकारी देनी होगी। इसके अलावा एक अतिरिक्त कॉलम हैं, जिसमें यात्री को बताना होगा कि उसे नीचे या ऊपर का बर्थ चाहिए। पांच से 12 साल के बच्चों की बर्थ आदि के बारे में भी जानकारी देनी होगी। फिलहाल, यात्रियों को रास्ते में निर्धारित पहचान पत्रों में से एक आधार कार्ड दिखाना पड़ता है। यात्रा के दौरान आरक्षित टिकट के यात्रियों को कोई एक पहचान पत्र दिखाना अनिवार्य होता है। जानकारों के अनुसार जल्द ही आवेदन फार्म में भी आधार नंबर अनिवार्य हो जाएगा।
काउंटर टिकट पर भी मिलेगी वैकल्पिक ट्रेन की सुविधा रेलवे अब काउंटर टिकट पर भी यात्रियों को वैकल्पिक ट्रेन की सुविधा मुहैया कराएगा। इसके लिए आरक्षण आवेदन फार्म में रेलवे ने एक और कॉलम बढ़ा दिया है। फार्म में वेटिंग सूची के यात्रियों से पूछा जा रहा है कि क्या वे वैकल्पिक ट्रेन में अपना टिकट शिफ्ट कराना चाहते हैं या नहीं। अगर कराना चाहते हैं तो आगे हां लिखना होगा। यह सुविधा ई टिकटों पर पहले से ही मिल रही है। विकल्प देने वाले यात्री का टिकट पीछे से आ रही ट्रेन में बर्थ खाली होने पर स्वत: कंफर्म हो जाएगा।
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