दस हजार वर्ग मीटर जमीन देगा गीडा, फ्लैटेड फैक्ट्री का रास्ता साफ Gorakhpur News
एक जिला एक उत्पाद (ओडीओपी) योजना में रेडीमेड गारमेंट को शामिल किए जाने के बाद इस उत्पाद के विकास के लिए कई कदम उठाए गए हैं। गोरखपुर को रेडीमेड गारमेंट का हब बनाने के लिए फ्लैटेड फैक्ट्री बनाने की मांग उद्यमियों की ओर से की जा रही थी।
गोरखपुर, जेएनएन : एक जिला एक उत्पाद (ओडीओपी) योजना में रेडीमेड गारमेंट को शामिल किए जाने के बाद इस उत्पाद के विकास के लिए कई कदम उठाए गए हैं। गोरखपुर को रेडीमेड गारमेंट का हब बनाने के लिए फ्लैटेड फैक्ट्री बनाने की मांग उद्यमियों की ओर से की जा रही थी। अब जिले में फ्लैटेड फैक्ट्री का रास्ता साफ हो गया है। गोरखपुर औद्योगिक विकास प्राधिकरण इसके लिए 10 हजार वर्ग मीटर से अधिक जमीन देने को तैयार हो गया है। इसका प्रस्ताव भी शासन को भेज दिया गया है।
एूपीएसआइडीसी को फ्लैटेड फैक्ट्री बनाने की दी गई जिम्मेदारी
उत्तर प्रदेश स्टेट इंडस्ट्रियल डेवलपमेंट कारपोरेशन (यूपीएसआइडीसी) को फ्लैटेड फैक्ट्री बनाने की जिम्मेदारी दी गई है। यूपीएसआइडीसी ने इसके लिए जमीन मांगी थी। गीडा जमीन की तलाश कर रहा था। सेक्टर 13 में करीब 10 हजार 800 वर्ग मीटर जमीन का प्रस्ताव शासन को भेजा गया है। यह जमीन किसी उद्यमी को आवंटित थी, लेकिन और बड़ा भूखंड लेने के लिए उनकी ओर से इसे सरेंडर किया जा रहा है। सेक्टर 13 में सड़क, नाली जैसी अवस्थापना सुविधाओं का विकास भी किया गया है, इसलिए इस जमीन को काफी उपयुक्त माना जा रहा है। फ्लैटेड फैक्ट्री के बन जाने से रेडीमेड गारमेंट की कई इकाइयां लग सकेंगी।
गारमेंट फैक्ट्री के लिए भी मिलेगी जमीन
मंडलायुक्त जयंत नार्लिकर ने कचहरी क्लब मैदान में आयोजित प्रदर्शनी का अवलोकन करने पहुंचे मुख्यमंत्री का स्वागत करते हुए बताया कि गीडा में जल्द ही गारमेंट पार्क के लिए 50 एकड़ से अधिक जमीन दी जा रही है। भीटी रावत में यह जमीन दी जाएगी। चैंबर आफ इंडस्ट्रीज की ओर से कराए गए सर्वे में करीब 200 उद्यमियों ने पार्क में इकाई लगाने पर सहमति जतायी थी। उन्होंने फ्लैटेड फैक्ट्री की प्रगति से भी मुख्यमंत्री एवं उद्यमियों को अवगत कराया।
सेक्टर 13 में जमीन कर ली गई चिह्नित
गीडा के सीईओ पवन अग्रवाल ने कहा कि यूपीएसआइडीसी ने फ्लैटेड फैक्ट्री के लिए जमीन की मांग की थी। सेक्टर 13 में करीब 10 हजार 800 वर्ग मीटर जमीन चिन्हित कर ली गई है। यहां आधारभूत सुविधाएं भी मौजूद हैं। जमीन का प्रस्ताव शासन को भेज दिया गया है।