गाजीपुर में हेड कॉन्स्टेबल की हत्या के बाद ताबड़तोड़ छापेमारी, हिरासत में 28 प्रदर्शनकारी
हेड कॉन्स्टेबल सुरेश प्रताप वत्स की हत्या के मामले में पुलिस बेहद तत्पर हो गई है। कल रात से आज तड़के तक ताबड़तोड़ छापा मारने का क्रम चलता रहा।
गाजीपुर, जेएनएन। निषाद पार्टी के अराजकता कार्यकर्ताओं के यहां पर कल देर शाम हेड कॉन्स्टेबल सुरेश प्रताप वत्स की हत्या के मामले में पुलिस बेहद तत्पर हो गई है। कल रात से आज तड़के तक ताबड़तोड़ छापा मारने का क्रम चलता रहा। इस हत्या के मामले में 28 लोगों को हिरासत में लिया गया है जबकि दो लोगों को इसमें नामजद किया गया है।
गाजीपुर में कल देर शाम प्रदर्शन के बाद निषाद पार्टी के कार्यकर्ता बेहद अराजक हो गए। इन लोगों ने ड्यूटी पर तैनात हेड प्रतापगढ़ निवासी हेड कॉन्स्टेबल सुरेश प्रताप वत्स को पीट-पीटकर मार डाला। इस मामले में पुलिस ने आज 28 प्रदर्शनकारियों को हिरासत में लिया है। इन सभी से कई जगह पर पूछताछ हो रही है। पुलिस ने यह कार्रवाई वीडियो फुटेज के आधार पर की हैं। इसके बाद भी अभी भी पुलिस ताबड़तोड़ छापेमारी कर रही है।
गाजीपुर के करीमुद्दीनपुर थाने में तैनात हेड कांस्टेबल सुरेश प्रताप वत्स की पीटकर हत्या के मामले में पुलिस ने देर रात तक विभिन्न थानों में दो सौ से अधिक अज्ञात उग्र प्रदर्शनकारियों के खिलाफ मुकदमा दर्ज कर कार्रवाई शुरू की। इस बीच आइजी विजय सिंह मीणा ने जिला अस्पताल पहुंचकर मामले की जानकारी ली।
यहां पर आरक्षण की मांग को लेकर निषाद समाज के लोगों ने चक्का जाम कर रखा था। जब पुलिस ने मौके पर पहुंचकर भीड़ को काबू करने की कोशिश की तो भीड़ ने पुलिस पर पत्थर बरसाने शुरू कर दिए। इसी बीच प्रदर्शनकारियों की तरफ से लगातार हो रही पत्थरबाजी में हेड कॉन्स्टेबल सुरेश वत्स की मौत हो गई।
सीएम योगी ने कांस्टेबल सुरेश वत्स की मौत को दुर्भाग्यपूर्ण बताया है। उन्होंने शहीद सुरेश प्रताप वत्स की पत्नी के लिए 40 लाख रुपये के मुआवजे का ऐलान किया। सीएम योगी आदित्यनाथ ने उनकी पत्नी को असाधारण पेंशन और माता-पिता के लिए 10 लाख रुपये के मुआवजे का ऐलान भी किया है।
राजकीय सम्मान के साथ होगी अंतिम विदाई
गाजीपुर में पोस्टमार्टम के बाद शहीद सुरेश प्रताप वत्स को गाजीपुर पुलिस लाइन में राजकीय सम्मान के साथ अंतिम विदाई दी जाएगी। इसके बाद शहीद का शव उनके पैतृक गांव प्रतापगढ़ के रानीगंज थाना के लच्छीपुर गांव ले जाया जाएगा।
अंतिम विदाई के समय एडीजी वाराणसी पी वी रामा शास्त्री भी मौजूद रहेंगे। इससे पहले माब लीचिंग में शहीद कॉन्स्टेबल सुरेश प्रताप वत्स के शव का तीन डाक्टर्स के पैनल ने पोस्टमार्टम किया। इस दौरान एसपी यशवीर सिंह भी वहां मौजूद थे। पोस्टमार्टम की वीडियो रिकॉर्डिंग भी कराई गई।
चिकित्सकों की लापरवाही आई सामने
भीड़ का शिकार हुए सिपाही सुरेश प्रताप का शव करीब एक घंटे पड़ा रहा पोस्टमार्टम हाउस। सीएमओ डॉ जीसी मौर्य, सिपाही के परिजन और पुलिस चिकित्सकों का करते रहे इंतेजार। करीब साढ़े नौ बजे चिकित्सकों को पीएम हाऊस के चौकीदार के आने के बाद पोस्टमार्टम शुरू हुआ।
सीएमओ का कहना है कि बाइक खराब हो जाने के कारण चिकित्सकों को पहुंचने में देर हो गई। हैरानी की बात यह कि पहले सीएमओ पहुँचे, फिर डॉक्टर आये। इनके आने के बाद ताला खोलने वाले व अन्य कर्मी ही नदारद रहे। उनके आने के बाद पोस्टमार्टम शुरू हुआ।