यात्रियों के लिए यादगार बन गईं पांच जोड़ी एक्सप्रेस ट्रेनें
कोरोना काल में बंद हुई इन ट्रेनों का संचालन आज तक शुरू नहीं हुआ।
यात्रियों के लिए यादगार बन गईं पांच जोड़ी एक्सप्रेस ट्रेनें
जागरण संवाददाता, जमानियां (गाजीपुर) : हावड़ा-दिल्ली मुख्य मार्ग के पटना-पीडीडीयू रेल खंड पर चलने वाली पांच जोड़ी एक्सप्रेस व एक जोड़ी मेमो पैसेंजर ट्रेन यात्रियों के लिए यादगार बन कर रह गई। कोरोना काल में बंद हुई इन ट्रेनों का संचालन आज तक शुरू नहीं हुआ। इन ट्रेनों का ठहराव जनपद के जमानियां, दिलदारनगर, भदौरा व गहमर स्टेशनों पर होता था, जिससे यात्रियों को काफी सुविधा मिलती थी।
दानापुर मंडल के पटना-डीडीयू रेल खंड पर कोरोना काल से पहले चलने वाली 13007/13008 तूफान एक्सप्रेस, 13119 अप सियालदह-दिल्ली एक्सप्रेस, 13120 आनंद विहार-सियालदह एक्सप्रेस, 13133 सियालदह-वाराणसी एक्सप्रेस, 13134 वाराणसी-सियालदह एक्सप्रेस, 13049 हावड़ा-अमृतसर एक्सप्रेस, 13050 अमृतसर हावड़ा एक्सप्रेस, पटना बनारस मेमो पैसेंजर यात्रियों के लिए यादगार बनकर रह गई है। कोरोना काल बीते दो वर्ष भी हो गए लेकिन रेलवे की ओर से इन ट्रेनों का परिचालन शुरू नहीं किया जा सका। स्टेशनों पर ट्रेनों का ठहराव बढ़ने के बजाय घट गया। रेल यात्री कल्याण समिति शाखा जमानियां के अध्यक्ष मिथलेश सिंह ने कहा कि कोरोना काल में बंद हुई ट्रेनों का पुनः संचालन करने के लिए रेल बोर्ड को पत्र लिखा जाएगा।
आठ राज्यों से होकर गुजरती थी ब्रह्मपुत्र मेल
स्वतंत्रता आंदोलन के समय अंग्रेजों की ओर से चलाई गई 13007/08 उद्यान आभा तूफान एक्सप्रेस बंद होने जा रही है। पहली जून 1930 से हावड़ा-श्री गंगानगर तक चलने वाली तूफान एक्सप्रेस ट्रेन सबसे लंबी दूरी की ट्रेनों में एक थी। अपने समय की सबसे तेज गति से चलने वाली ट्रेनों में शुमार थी। भले ही लंबी दूरी की थी, लेकिन इसमें सवार होने वाले अधिकांश यात्री स्थानीय होते थे। इसमें यात्रा करने पर विभिन्न संस्कृतियों की छटाएं देखने को मिलती थीं, अब यह ट्रेन यादों में ही रह गई है। रेलवे बोर्ड की ओर से इस ट्रेन के परिचालन को बंद कर दिया गया है। उद्यान आभा तूफान एक्सप्रेस आठ राज्यों पश्चिम बंगाल, झारखंड, बिहार, उत्तर प्रदेश, हरियाणा, दिल्ली, पंजाब व राजस्थान होते हुए हावड़ा से श्री गंगानगर तक पहुंचती है। यह ट्रेन 110 किमी प्रति घंटा और औसतन 44 किमी प्रति घंटा की रफ्तार से चलती थी। अप में यह ट्रेन 1978 किमी की दूरी 45 घंटा 25 मिनट में 110 स्टेशनों पर रुकते हुए तय करती थी। वहीं, डाउन में यह 107 स्टेशनों पर रुकते हुए इतने ही दूरी 46 घंटा 20 मिनट में तय करती थी। इस ट्रेन में एसी थ्री, एसी टू व स्लीपर कोच के साथ ही बड़ी संख्या में जनरल बोगियां लगी रहती थीं। इतनी लंबी दूरी की ट्रेन होने के बावजूद इसमें कोई पैंट्री कार नहीं थी। यह ट्रेन शुरू हुई थी तो काफी कम स्टेशनों पर रुकती थी। कई स्टेशनों पर आंदोलन के बाद इसका ठहराव दिया गया था। अधिकांश स्टेशनों पर दैनिक यात्रियों के लिए यह सबसे प्रमुख ट्रेनों में से एक थी।
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कोरोना संक्रमण के समय बंद हुई ट्रेनों का संचालन रेलवे बोर्ड से किया जा रहा है। दिल्ली-हावड़ा रेल खंड पर चलने वाली तूफान एक्सप्रेस का संचालन भी कोरोना संक्रमण के समय से ही बंद है। रेलवे बोर्ड इस ट्रेन को बंद करने का निर्णय भी लिया है।
-वीरेंद्र कुमार, मुख्य जनसंपर्क अधिकारी, हाजीपुर पूर्व मध्य रेलवे।