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91 हजार परिवार प्रधानमंत्री आवास के लिए पात्र

जागरण संवाददाता गाजीपुर जनपद में 91 हजार परिवार प्रधानमंत्री आवास योजना के लिए पात्र मिले ह

By JagranEdited By: Published: Tue, 13 Oct 2020 04:32 PM (IST)Updated: Tue, 13 Oct 2020 04:32 PM (IST)
91 हजार परिवार प्रधानमंत्री आवास के लिए पात्र
91 हजार परिवार प्रधानमंत्री आवास के लिए पात्र

जागरण संवाददाता, गाजीपुर : जनपद में 91 हजार परिवार प्रधानमंत्री आवास योजना के लिए पात्र मिले हैं। हालांकि सत्यापन के बाद 38 हजार परिवारों को अपात्र घोषित करते हुए सूची से बाहर कर दिया गया है। वह इस योजना के मानक को पूरा नहीं कर रहे थे लेकिन आनलाइन पंजीकरण करा रखा था। सूची से बाहर होने के बाद वह मायूस हैं।

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इससे पहले 2011 की पात्रता सूची में शामिल लोगों को प्रधानमंत्री आवास मिलता था लेकिन पिछले वर्ष यह सूची संतृप्त हो गई। इसके बाद सरकार ने फिर से सर्वे कर आवासविहीनों की नई सूची बनाने का निर्देश जारी किया, ताकि नई सूची में शामिल परिवार को छत मुहैया कराई जा सके। इसके बाद पूरे जनपद में सर्वे करके कई चरण में कुल एक लाख 29 हजार 101 आवास विहीन परिवारों का आनलाइन पंजीकरण किया गया था। इसके बाद इस सूची को ग्रामवार चस्पा कर दिया गया। फिर शासन के निर्देश पर पंजीकृत सभी परिवारों का सत्यापन कार्य शुरू किया गया। इसके लिए त्रिस्तरीय समिति गठित की गई। इसमें एक जिला स्तर, एक ब्लाक स्तर व एक ग्रामस्तर के अधिकारी को शामिल किया गया। सत्यापन के दौरान पता चला कि बहुत से ऐसे परिवार हैं जो अपात्र हैं लेकिन सूची में शामिल हैं। पूरे जिले में इस तरह के 38 हजार परिवारों को चिह्नित किया गया। इसके बाद उन्हें अपात्र घोषित कर दिया गया।

ऐसे मिले अपात्र

: पीएम आवास की सूची में शामिल लोगों का सत्यापन करने जब त्रिस्तरीय समिति उनके घर पहुंची तो वह सच सामने आने लगा। कई परिवारों के पास दोपहिया वाहन थे तो किसी के घर में फ्रिज व टीवी आदि लगा था। कई परिवारों के पास तो पक्के मकान भी थे और वह मजे से रह रहे थे। हालांकि ऐसे भी कई परिवार मिले जो जैसे-तैसे ईंट की दीवार खड़ी कर उस पर झोपड़ी या शेड डाल कर गुजर-बसर कर रहे थे, लेकिन सरकार के मानक में है कि अगर ईंट की दीवार भी खड़ी है तो वह परिवार अपात्र माना जाएगा।

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: त्रिस्तरीय समिति के सत्यापन के बाद जिले में 91 हजार पात्र व 38 हजार अपात्र मिले हैं। अपात्रों को सूची से बाहर कर दिया गया है और पात्रों का नाम आवास प्लस एप पर अपलोड कर दिया गया है। शीघ्र ही उन्हें आवास मुहैया कराया जाएगा।

- विजय प्रकाश वर्मा, परियोजना निदेशक।


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