मां की मौत के बाद अपने जन्मदिन पर बोला रुद्र, मैं बनूंगा डाक्टर
जागरण संवाददाता साहिबाबाद नोएडा ग्रेटर नोएडा गाजियाबाद के आठ अस्पतालों में इलाज न मिलने
जागरण संवाददाता, साहिबाबाद: नोएडा, ग्रेटर नोएडा, गाजियाबाद के आठ अस्पतालों में इलाज न मिलने के कारण दम तोड़ने वाली गर्भवती नीलम का इकलौता बेटा रुद्र डॉक्टर बनकर मरीजों की सेवा करना चाहता है। जिससे की मरीजों को समय पर इलाज मिल सके, इलाज के अभाव में किसी मरीज की जान न जाए। वह अपने तहेरे भाई-बहनों और स्वजनों से डाक्टर बनने के बारे में कहता है तो उनकी आंख से आंसू छलक पड़ते हैं। स्वजन कहते हैं कि प्रयास करेंगे की उसकी इच्छा पूरी हो, इसके लिए पढ़ाई में जो खर्च होगा वह उसका इंतजाम करने का प्रयास करेंगे।
खोड़ा के आजाद विहार निवासी शैलेंद्र ने बताया कि मंगलवार को नीलम के बेटे रुद्र का जन्मदिन था, वह अब छह साल का हो गया है। नीलम को उम्मीद थी कि रुद्र के जन्मदिन से पहले ही घर में एक और नन्हा मेहमान आ जाएगा। रुद्र के जन्मदिन की खुशी दोगुनी हो जाएगी। लेकिन पांच जून को नोएडा, ग्रेटर नोएडा और गाजियाबाद के आठ अस्पतालों ने तबीयत बिगड़ने पर नीलम को भर्ती नहीं किया, इलाज के अभाव में नीलम और उसके गर्भस्थ शिशु की मौत हो गई। खुशियां मातम में बदल गई, अब तक उनके घर पर गाजियाबाद से कोई भी अधिकारी जानकारी के लिए नहीं पहुंचे। नोएडा में जिला प्रशासन की ओर से कॉल कर उनको बयान देने के लिए बुलाया गया था, वहां जाकर उन्होंने जानकारी दे दी है। शैलेंद्र ने बताया कि मंगलवार को रुद्र का जन्मदिन था, उन्होंने रुद्र को मां की कमी का आभास न हो इसलिए उसका जन्मदिन भी मनाया। इस दौरान रुद्र ने अपने तहेरे भाई-बहन विशाल, सृष्टि और हर्षित से कहा कि वह बड़ा होकर डाक्टर बनेगा, मरीजों का इलाज करेगा। शैलेंद्र का कहना है कि नीलम की मौत के बाद ही रुद्र ऐसा कह रहा है।
अस्पताल वालों को छोड़ेंगे नहीं, जरूरत पड़ने पर खटखटाएंगे कोर्ट का दरवाजा:
इलाज के अभाव में दम तोड़ने वाली खोड़ा के अलग-अलग कॉलोनियों में रहने वाली महिलाएं नीलम और ममता के परिवार वालों का कहना है कि वह इंतजार कर रहे हैं कि प्रशासनिक अधिकारी इस मामले में लापरवाही बरतने वाले अस्पतालों के प्रबंधन के खिलाफ कार्रवाई करेंगे। इस वजह से इस मामले में अभी एफआइआर दर्ज नहीं करवाई है। अगर इंसाफ नहीं मिला तो जरूरत पड़ने पर स्वजन न्यायालय का दरवाजा भी खटखटाएंगे, लापरवाही बरतने वालों को छोड़ेंगे नहीं। शैलेंद्र ने बताया कि वैशाली सेक्टर-1 में स्थित अस्पताल के प्रबंधन द्वारा यह कहा जाना कि नीलम को उनके अस्पताल में नहीं लाया गया था, यह सरासर झूठ है। सीसीटीवी कैमरे खंगालने से सच्चाई का पता लग जाएगा। उधर, खोड़ा के प्रताप विहार में रहने वाली ममता के बेटे अर्जुन का कहना है कि दिल्ली-नोएडा के अस्पतालों में छह-सात जून को उनकी मां का इलाज नहीं किया गया, जिसके कारण उनकी जान चली गई। इस मामले में भी अभी तक कोई कार्रवाई नहीं की गई है, वह चाहते हैं कि लापरवाही बरतने वालों के खिलाफ कड़ी कार्रवाई की जाए। अर्जुन के बयान लेने के लिए खोड़ा नगरपालिका से दो अधिकारी सोमवार को उनके घर पहुंचे और मामले की जानकारी ली है। अर्जुन ने बताया कि दिल्ली के एक अस्पताल के बाहर तो पुलिस भी खड़ी थी। उन्होंने पुलिसकर्मियों से अपील करते हुए कहा कि वह उनकी मां को अस्पताल में भर्ती करवाने में मदद करें, लेकिन उन्होंने भी मदद नहीं की।