Farmers Protest : किसान ऐप से जुड़ेंगे एक करोड़ लोग, जानिए इसका खास मकसद
संयुक्त किसान मोर्चा और भारतीय किसान यूनियन पूरे देश के किसानों को एकजुट करने के लिए किसान ऐप बना रहे हैं। 10 दिन में ऐप तैयार होने की उम्मीद है। इससे एक करोड़ किसानों को जोड़ने का लक्ष्य है।
साहिबाबाद, सौरभ पांडेय। कृषि कानूनों को वापस लेने की मांग पर बीती 28 नवंबर से दिल्ली के अलग-अलग बार्डरों पर धरने पर बैठे किसान अब हाईटेक होने की ओर कदम बढ़ा रहे हैं। संयुक्त किसान मोर्चा और भारतीय किसान यूनियन पूरे देश के किसानों को एकजुट करने के लिए 'किसान' ऐप बना रहे हैं। 10 दिन में ऐप तैयार होने की उम्मीद है। इससे एक करोड़ किसानों को जोड़ने का लक्ष्य है। ऐप के माध्यम से किसानों को फसल को उन्नत बनाने के तरीके तो सिखाए ही जाएंगे साथ ही केंद्र और प्रदेश सरकारों के कृषि को लेकर उठाए जा रहे हर कदम से भी अवगत कराया जाएगा। ऐप से जोड़ने के लिए किसानों का रजिस्ट्रेशन शुरू कर दिया गया है।
जारी है धरना
यूपी गेट, सिंघु बार्डर, टिगरी बार्डर, गुड़गांव और नोएडा आदि के बार्डरों पर धरने पर बैठे किसानों का धरना लगातार जारी है। सड़क पर धरना दे रहे किसानों का इंटरनेट मीडिया विंग भी पूरी तरह सक्रिय है। फेसबुक, ट्विटर, व्हाट्सअप आदि पर लगातार किसान वीडियो और लेख के माध्यम से लोगों तक अपनी बात पहुंचा रहे हैं। किसान नेताओं ने देश के हर किसान तक अपनी बात पहुंचाने के लिए 'किसान' ऐप बनाने की तैयारी की है। इस ऐप का काम संयुक्त किसान मोर्चा की आइटी विंग कर रही है। जल्द ही इसका काम पूरा कर इसे लांच कर दिया जाएगा।
किसानों को पहुंचेगी हर जानकारी
भारतीय किसान यूनियन के राष्ट्रीय प्रवक्ता धर्मेंद्र मलिक ने बताया कि ऐप के माध्यम से सरकार के हर कदम की जानकारी किसानों तक पहुंचेगी। कृषि कानून अथवा किसानों के हित में बनने वाले हर नियम की जानकारी ऐप के द्वारा किसानों तक पहुंचाई जाएगी। इसके माध्यम से देश के किसी भी स्थान पर किसानों को होने वाली समस्याओं की जानकारी पूरे देश के किसानों को होगी। इन समस्याओं पर सभी किसान एकजुट होकर सरकार से बात करेंगे।
करीब एक लाख किसान करा चुके रजिस्ट्रेशन
संयुक्त किसान मोर्चा के नेताओं ने बताया कि बुधवार से ऐप के लिए रजिस्ट्रेशन शुरू किया गया है। दो दिन में एक लाख से अधिक किसान ऐप के लिए रजिस्ट्रेशन करवा चुके हैं। किसानों का नाम, पिता का नाम, पता व मोबाइल नंबर लेकर रजिस्ट्रेशन किया जा रहा है। ऐप तैयार होते ही किसानों के मोबाइल पर लिंक भेजकर ऐप डाउनलोड करवाया जाएगा। मोबाइल नंबर डालकर वे ऐप पर लॉग इन कर सकेंगे।
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