फ्लैट देने का झांसा देकर 35 लाख से ज्यादा ठगे
जागरण संवाददाता साहिबाबाद इंदिरापुरम में 23वीं मंजिल पर फ्लैट देने का झांसा देकर 35 लाख
जागरण संवाददाता, साहिबाबाद : इंदिरापुरम में 23वीं मंजिल पर फ्लैट देने का झांसा देकर 35 लाख रुपये से ज्यादा की ठगी करने का मामला सामने आया है। न्यायालय के आदेश पर कंपनी, दो निदेशक सहित पांच लोग के खिलाफ रिपोर्ट दर्ज हुई है।
डीएलएफ कॉलोनी रोहतक हरियाणा निवासी हरपाल सिंह ने बताया है कि उन्हें व उनकी मां गंधीर कौर को इंदिरापुरम में एक मकान की जरूरत थी। इंदिरापुरम में एक कंपनी की ओर से बहुमंजिला भवन बन रहा था। मौके पर उन्हें दो व्यक्ति मिले, जिन्होंने खुद को कंपनी का निदेशक बताया। दोनों ने उन्हें स्वीकृत मानचित्र व अन्य दस्तावेज दिखाए। इस पर उन्होंने 56 लाख 97 हजार सौ रुपये में 23वीं मंजिल पर फ्लैट संख्या बी 2309 बुक कर दिया। 15 अप्रैल 2013 को बुकिग की धनराशि पांच लाख 75 हजार रुपये का दो चेक दे दिया। उसी दिन उन्हें फ्लैट की बुकिग का पत्र मिल गया। 12 अक्टूबर 2013 को उन्हें एक अलाटमेंट लेटर मिला। उन्होंने जनवरी 2015 में बैंक से कर्ज लेकर 35 लाख 23 हजार 885 रुपये दे दिए। उनका आरोप है कि बिल्डर बचे रकम की मांग करने लगा। उन्होंने फ्लैट कंस्ट्रक्शन लिंक पेमेंट प्लान के तहत बुक कराया था। 23वीं मंजिल पर कोई निर्माण नहीं होने के कारण उन्होंने बचा रकम देने से इन्कार कर दिया। पहले फ्लैट का निर्माण कराने को कहा। बिल्डर ने निर्माण नहीं किया। 14वीं मंजिल तक पिलर और स्लैब डालकर काम बंद कर दिया। बिल्डर ने एक फरवरी 2020 को उन्हें एक डिमांड नोटिस दिया। उन्होंने बिल्डर से फ्लैट का निर्माण करने या फिर ब्याज सहित रुपये वापस करने की मांग की, तो बिल्डर ने बताया कि विवाद के कारण फ्लैट नहीं बन पाए हैं। तब उन्हें पता चला कि बिल्डर की जमीन नहीं थी। धोखाधड़ी कर उनके साथ ठगी की है। पैसे मांगने पर जान से मारने की धमकी दी। उन्होंने पुलिस से शिकायत की, लेकिन कोई सुनवाई नहीं हुई, तब न्यायालय का दरवाजा खटखटाया। न्यायालय के आदेश पर शुक्रवार को कंपनी, दो निदेशक सहित पांच लोग के खिलाफ इंदिरापुरम थाना में धोखाधड़ी समेत अन्य धाराओं में रिपोर्ट दर्ज हुई है। थाना प्रभारी निरीक्षक संजीव शर्मा ने बताया है कि रिपोर्ट दर्ज कर मामले की जांच की जा रही है।