मौसम के बदले रुख से किसानों की बढ़ी चिता
जागरण संवाददाता मोदीनगर सोमवार की सुबह से मौसम फिर बदल गया। आसमान में बादल छाने के साथ
जागरण संवाददाता, मोदीनगर : सोमवार की सुबह से मौसम फिर बदल गया। आसमान में बादल छाने के साथ ही बूंदाबांदी भी हुई। इससे किसानों की चिता बढ़ गई। इस समय सरसों की फसल में कटाई चल रही है। जबकि, गेहूं की अगेती फसल पकाव पर है। ऐसे में किसानों को दोनों फसलों का उत्पादन प्रभावित होने का डर सता रहा है। किसानों का कहना है कि बूंदाबांदी यदि बारिश में तब्दील हुई तो सरसों खेतों में ही गल जाएगी, जबकि गेहूं की फसल हल्की सी हवा में ही गिर जाएगी।
इस बार फरवरी में ही गर्मी का एहसास हो गया। इसका फसलों पर भी साफ असर दिखा। समय से पहले ही सरसों की फसल पककर तैयार हो गई। यही वजह रही कि कुछ किसानों ने तो दो सप्ताह पहले ही फसल में कटाई लगा दी थी। वे फसल घर भी ले आए। मंडियों में सरसों की आवक भी शुरू हो गई है। हालांकि, ज्यादातर किसान सरसों की फसल को काटने में लगे हैं, जबकि कुछ की फसल खेतों में कटी पड़ी है। इसी बीच सोमवार को मौसम का रुख बदल गया। धूप गायब हो गई और आसमान में बादल छा गए। दोपहर को मोदीनगर, मुरादनगर के कुछ क्षेत्र में बूंदाबांदी भी हुई। इससे किसानों का कटाई का काम बीच में बंद हो गया। इसके अलावा गेहूं की अगेती फसल में भी पकाव शुरू हो गया है। उन किसानों को भी चिता सता रही है। किसान अब मौसम के जल्दी साफ होने की दुआ कर रहे हैं। किसानों का कहना है कि सरसों की जो फसल इस समय खेतों में कटी पड़ी हैं, ज्यादा बारिश हुई तो उसमें गलन शुरू हो जाएगी। सरसों के दाने में सफेद फफूंद रोग आ जाएगा। बाजार में अच्छा दाम नहीं मिल सकेगा। इतना ही नहीं, गेहूं की 100 फीसद फसल में बाली बाहर आ चुकी है। अगेती फसल में पकाव शुरू हो गया है। यदि बूंदाबांदी बारिश में तब्दील हुई तो गेहूं की बाली में पानी भरने से उसमें भारीपन हो जाएगा और फसल गिर जाएगी जिससे उसका दाना जीरा रह जाएगा।
नूरपुर गांव निवासी प्रगतिशील किसान टेमपाल चौधरी का कहना है कि किसान का भाग्य मौसम के हाथ में है। कई बार देखने में आया है कि मौसम तभी गड़बड़ करता है, जब फसल पककर तैयार होती है। अब बारिश हुई तो किसान बर्बाद हो जाएगा। इस बारे में वरिष्ठ कृषि विज्ञानी डॉ. अरविद यादव का कहना है कि इस समय की बारिश और हवा किसानों को नुकसान पहुंचाएगी। सरसों और गेहूं के अलावा इस समय आलू में भी खोदाई चल रही है। यदि बारिश होती है तो खोदाई का काम भी बंद हो जाएगा।