लखनऊ एक्सप्रेस वे पर चिल्लाते रहे लोग और भिड़तीं रहीं गाड़ियां
छोटी कारों में हुए सबसे ज्यादा नुकसान एक्सप्रेस वे पर कोहरे में पहला बड़ा हादसा सुबह तीन घंटे तक मची रही चीखपुकार अपनों की तलाश में बिलखते रहे लोग।
संवाद सहयोगी(फीरोजाबाद): शनिवार की सुबह सात बजे आगरा-लखनऊ एक्सप्रेस वे पर गाड़ियां कोहरे की धुंध को चीरते हुए आगे बढ़ रहीं थीं। अचानक कोहरे का भंवर आया और बिहार जा रही स्लीपर कोच बस का चालक आगे चल रही बोलेरो को नहीं देख पाया और टक्कर हो गई। कोहरे के खतरे को भांपते हुए बस के यात्री उतरकर पीछे से आने वाले वाहनों को रोकने के लिए चिल्लाते रहे, मगर इसका कोई असर नहीं हुआ। एक के बाद एक गाड़ियां टकराती रहीं। वाहनों की टक्कर के साथ-साथ चीख-पुकार बढ़ती गई। लखनऊ एक्सप्रेस वे पर पिछले चार सालों में कोहरे के चलते इस तरह का हादसा पहली बार हुआ है।
हादसे की खबर सुबह साढ़े सात बजे मिलने के बाद पुलिस की गाड़ियां दौड़ने लगीं। थोड़ी देर में सिरसागंज, नगला खंगर, नसीरपुर और शिकोहाबाद, जसराना, मटसेना थाना के फोर्स के साथ अधिकारी और चार एम्बुलेंस घटना स्थल पर पहुंच गईं। इसके साथ राहत कार्य शुरू हुआ। यूपीडा द्वारा आगरा की तरफ से ट्रैफिक डायवर्ट कराने के साथ घायलों को एम्बुलेंस से भेजा गया। वहीं यात्री अपने घायल स्वजनों को खोजते हुए बिलखते रहे। हालांकि कोहरे में वाहनों की गति धीमी होने के कारण घायलों की संख्या कम रही। वहीं सबसे ज्यादा नुकसान छोटी कारों में हुआ। कई कारें टक्कर में बुरी तरह क्षतिग्रस्त हुई तो कई पलट गई। पुलिस ने चार क्रेन बुलवाकर क्षतिग्रस्त कारों को सड़क से हटवाकर किनारे करवाया। लगभग तीन घंटे बाद यातायात सुचारू हो सका। - तीन घंटे तक आगरा की तरफ से डायवर्ट रहा ट्रैफिक : सुबह लगभग साढ़े सात बजे हुए हादसे के बाद आगरा की तरफ से एक्सप्रेस वे पर आने वाले ट्रैफिक को राष्ट्रीय राजमार्ग से डायवर्ट कर दिया गया। जबकि लखनऊ की तरफ से आने वाले ट्रैफिक को सिंगल लाइन से होकर धीमी गति से गुजारा गया। सुबह 11 बजे तक गाड़ियों को हटवाकर ट्रैफिक शुरू करवा दिया गया था।
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प्रशासन ने भिजवाए डाक्टर, मौके पर चला इलाज: हादसे की गंभीरता को देखते हुए प्रशासन की सूचना पर सिरसागंज सीएचसी के चिकित्सा अधीक्षक डा.कपिल यादव डाक्टरों की टीम के साथ पहुंच गए। मामूली घायलों का मौके पर ही उपचार किया गया। वहीं 11 गंभीर घायलों को मिनी पीजीआइ सैफई और नौ घायलों को मेडिकल कालेज अस्पताल फीरोजाबाद भेजा गया।
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ट्रैवल्स एजेंसियों ने भेजी यात्रियों के लिए दूसरी बस: हादसे का शिकार हुई चार बसों में से एक नोएडा से इटावा, दूसरी बस राजीव चौक दिल्ली से बिहार, तीसरी नई दिल्ली से बिहार और एक बस गोरखपुर जा रही थी। इटावा के यात्री अन्य वाहनों से चले गए। जो सवारियां रह गई, उनके लिए ट्रैवल एजेंसियों द्वारा दूसरी बस भिजवाई गई। दोपहर लगभग 12 बजे यात्री बसों से गंतव्य के लिए रवाना हुए।
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- रोके गए यात्रियों को दिए गए चाय-बिस्कुट और दवाइयां
चार बसों की सवारियां को अधिकारियों ने सुरक्षित बिठवाया। इसके बाद ज्वाइंट मजिस्ट्रेट सिरसागंज एकता सिंह ने चाय, बिस्कुट और पानी का इंतजाम कराया। कई लोगों के रिश्तेदार अन्य वाहन लेकर भी पहुंच गए थे।
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सैफई पीजीआइ रेफर किए गए घायल
-सुमित कुमार (22)डीएम कैम्पस कन्नौज, अजय कुमार(25) निवासी जसवंतपुर औरैया, सोनी शर्मा (29) और उनके पति मनीष शर्मा (36) निवासी रामपुर गवाना अलीगढ़, कमला (45)निवासी मालदा पश्चिम बंगाल, मु. कादिर (28)सोढापुर मुरादाबाद, राना प्रताप (45) निवासी चौरी चौरा गोरखपुर, दीपक (32) निवासी अलीगढ़, शैलेंद्र (25) निवासी रमगवां कन्नौज, राकेश कुमार(55) कलक्ट्रेट कन्नौज, वरुण यादव(25) निवासी बीजनपारा किशनगंज बिहार, प्रदीप शर्मा (38) निवासी बन्ना देवी अलीगढ़, रंजीत कुमार (22) निवासी बरीठा मोतिहारी बिहार।
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सीएचसी सिरसागंज में इनका हुआ उपचार
जलालुद्दीन (60) निवासी माल्दा बंगाल, मुहम्मद हंजला (19), मुहम्मद नुडुवा (31), मुहम्मद नैयर (18), मुहम्मद अली (30), मुहम्मद जहांगीर (35), मुहम्मद कमरूल (38), मुहम्मद सरफराज (28) निवासीगण अररिया बिहार, देवी (30) व बोरीमोहन (32) निवासीगण मुनीरपुर बंगाल, नूर आलम (28), मनोहर (29), अनवर अली (24), असलम (21), मुहम्मद सूमी (13), मिराज (8) निवासीगण उत्तर दिनाजपुर प. बंगाल, लकी हसन (18), अब्दुल (18) व फातिमा (6) निवासी दक्षिणी दिनाजपुर, हसनूर (26) उत्तर दिनाजपुर, अकबर अली (24) दक्षिणी दिनाजपुर, सज्जाद अंसारी (30), व नौशाद अंसारी (22) पूर्णिया बिहार, अविनाश दास (24), पवा दास (19) व सुजीत दास (2) निवासीगण असम, विक्रम व जाकिर हुसैन निवासीगण माल्दा बंगाल, कुरमन अली और इलिमशाह उत्तर दिनाजपुर, अताउद्दीन निवासी नाहित हरीरामपुर व रज्जाक निवासी वाहकुड़ी कुसुमुंडा प. बंगाल, आनंद चौहान जंगल नाहर पड़रौना देवरिया, अमर सिंह बिरौली रामकोला देवरिया, भोजदेव प्रसाद यादव निवासी अरनवा महादेवमठ बिहार, शंकर सिंह चित्तौड़गढ़ राजस्थान।