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राशन की कालाबाजारी पर डीलर पर मुकदमा दर्ज

सुजातगढ़ में राशन की दुकान पर जांच में मिले थे 300 फर्जी यूनिट राशन वितरण में गड़बड़ी पर अब तक सात कोटेदारों पर हो चुकी रिपोर्ट।

By JagranEdited By: Published: Tue, 26 Oct 2021 06:44 AM (IST)Updated: Tue, 26 Oct 2021 06:44 AM (IST)
राशन की कालाबाजारी पर डीलर पर मुकदमा दर्ज
राशन की कालाबाजारी पर डीलर पर मुकदमा दर्ज

जागरण संवाददाता, फिरोजाबाद: राशन वितरण में गड़बड़ी और फर्जीवाड़ा पर प्रशासन ने कार्रवाई करना शुरू कर दिया है। सुजातगढ़ की डीलर पर पूर्ति निरीक्षक ने राशन की कालाबाजारी के आरोप में मुकदमा दर्ज कराया है। डीलर से जुड़े राशन कार्डों में तीन सौ फर्जी यूनिट मिले थे।

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विभागीय अधिकारियों की सांठगांठ से जिले में राशन की कालाबाजारी का खेल चल रहा है। कोई कार्डधारकों से घटतौली करता है तो कोई फर्जी यूनिट जोड़कर सरकार को चूना लगा रहा है। दैनिक जागरण ने अभियान चलाकर पर्दाफाश किया था। सात से 11 अक्टूबर तक लगातार खबरें प्रकाशित कर बताया गया कि किस तरह हिदू परिवार में मुस्लिम और शर्मा परिवार में यादव जाति के लोगों के नाम जुड़े हैं और उनके नाम से हर महीने बड़ी मात्रा में राशन निकाला जाता है। वहीं सैंकड़ों लोग ऐसे हैं जो राशन के लिए भटक रहे हैं।

इसके बाद डीएम चंद्र विजय सिंह ने पूरे जिले में चेकिग करने के निर्देश दिए। सदर तहसील के गांव सुजातगढ़ में क्षेत्रीय खाद अधिकारी सतीश चंद्र और पूर्ति निरीक्षक अरविद कुमार ने घर- घर जाकर जांच की तो तीन सौ से अधिक फर्जी यूनिट पकड़ में आए। पांच लोगों के परिवार के कार्ड में सात या आठ यूनिट थे। डीएसओ जाकिर हुसैन ने बताया डीएम के आदेश पर पूर्ति निरीक्षक ने डीलर पर एफआइआर दर्ज करा दी है। दुकान का अनुबंध पहले ही निलंबित कर दिया गया था।

बाक्स में..

-कोटेदारों के अलावा बाकी जिम्मेवारों पर कब होगी कार्रवाई.

राशन कार्ड में यूनिट के जरिए होने वाले घोटाले में राशन विक्रेताओं पर कार्रवाई तो हो रही है, मगर बाकी पर अब तक डंडा नहीं चला है। सवाल यह है कि आखिर बाकी जिम्मेवारों पर कब होगी कार्रवाई?

- पूर्ति निरीक्षक भी हैं जिम्मेवार.

राशन कार्ड में यूनिट बढ़ाने की प्रक्रिया पूर्ति विभाग के निरीक्षक के बिना नहीं हो सकती। इसमें पूर्ति निरीक्षक के डिजिटल साइन लगते हैं। मगर अब तक इन पर कोई भी कार्रवाई नहीं हुई।

- डीएसओ भी हैं जिम्मेवार. जिला पूर्ति अधिकारी के लिए कोटेदारों के निरीक्षण निर्धारित होते हैं। सवाल यह है कि निरीक्षण के दौरान उनके द्वारा अब तक यह घोटाला क्यों नहीं पकड़ा गया? इसके लिए उनका भी उत्तरदायित्व बनता है। ये है स्थिति:

-858 राशन की दुकानें हैं जिले में

-11 दुकानें हैं निलंबित

-31 दुकानें हैं निरस्त

-07 डीलरों पर एफआइआर कराई गई है अब तक

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कई गांवों में मिले फर्जी यूनिट:

सूत्रों के अनुसार सदर तहसील के गांव सोफीपुर में कई कार्डों में फर्जी यूनिट के साथ मृतक और शादी होकर सुसराल जा चुकी महिलाओं के नाम कार्डों में जुड़े होने की बात सामने आई है। हालांकि अभी जांच पूरी नहीं हुई है। इसी तरह शिकोहाबाद के गांव आमरी भी फर्जी यूनिट पाए गए हैं।


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