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धर्म स्थापना के लिए धरती पर अवतरित होते भगवान

संवाद सूत्र अमौली चांदपुर के श्री गोपेश्वर धाम में हो रही श्रीमद् भागवत कथा के चौथे दिन आचाय

By JagranEdited By: Published: Thu, 25 Nov 2021 08:01 PM (IST)Updated: Thu, 25 Nov 2021 08:01 PM (IST)
धर्म स्थापना के लिए धरती पर अवतरित होते भगवान
धर्म स्थापना के लिए धरती पर अवतरित होते भगवान

संवाद सूत्र, अमौली : चांदपुर के श्री गोपेश्वर धाम में हो रही श्रीमद् भागवत कथा के चौथे दिन आचार्य विनोद शुक्ल ने कहाकि धरती पर जब जब पाप बढ़ा है भगवान किसी न किसी अवतार में प्रकट हुए हैं। भगवान भक्तों की रक्षा करने के लिए आते हैं। कहाकि भगवान कभी नरसिंह रूप में प्रकट हुए तो कभी श्रीराम के रूप में तो कभी श्रीकृष्ण के रूप में अवतार लिया है। प्रेम से ही संसार का संचालन हो सकता है। संतोष परिहार, बजरंगी, रजोल सिंह, गौर, जितेंद्र व दयालू मौजूद रहे।

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उधर, विकास खंड अमौली के अमर शहीद विजय कुमार पांडेय स्मारक स्थल सठिगवां में रामकथा के दूसरे दिन स्वामी अक्षयानंद जी महराज ने शिव विवाह व सती चरित्र की कथा सुनाई। कथा वाचक ने कहाकि देवर्षि नारद ने विष्णु को श्राप दिया था। जबकि नारद जी उन्हीं के भक्त थे। इस लिए कहा गया है कि संसार में न तो कोई ज्ञानी है न कोई मूर्ख। प्रभु जैसा कराते हैं वैसा ही हो जाता है।


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