अखनई झील के बहुरेंगे दिन, बनेगा इको टूरिज्म स्थल
अखनई झील अखनई झील
अखनई झील के बहुरेंगे दिन, बनेगा इको टूरिज्म स्थल
जागरण संवाददाता, फतेहपुर : अगर, आपको भी जंगल, झील और वन क्षेत्र के बीच में छुट्टियां बिताना अच्छा लगता है, तो अब जिले के बाहर जाने की जरूरत नहीं है। जल्द ही यह इच्छा भिटौरा ब्लाक की अखनई झील में पूरी होगी। यूपी सरकार ने इसका चयन इको टूरिज्म को बढ़ावा देने के लिए पर्यटन स्थल के रूप में किया है। शासन ने यूपी के 56 जिलों में वन डिस्ट्रिक्ट वन डेस्टिनेशन प्लान बनाया है, जिसमें अपना जिले की अखनई झील भी शामिल है। जल्द ही इसके सुंदरीकरण का प्रस्ताव बनाकर शासन को भेजा जाएगा और धनराशि आवंटित होने पर यहां पर पर्यटन की दृष्टि से काम शुरू होगा।
भिटौरा ब्लाक की अखनई झील का क्षेत्रफल करीब पांच किलोमीटर की परिधि में फैला है। मुख्य रूप से फरसी और मोहद्दीपुर गांव इसकी सीमा है। करीब पांच साल पहले इस झील के विकास की रूपरेखा बनाई गई थी, लेकिन शासन से बजट न मिल पाने से झील पूरी तरह से बदहाल है। कभी सिल्ट न हटाए जाने से झील का बहुतायत हिस्सा इतना उथला हो गया है कि पानी का ठहराव ही नहीं हो रहा। अब सरकार ईको टूरिज्म को बढ़ावा देने जा रही है तो एक बार फिर इस झील के विकास की प्रक्रिया तेज हो गई है। वन विभाग ने इस झील को पर्यटन की दृष्टि से समृद्ध बताया है। यहां आज भी साइवेरियन पक्षी आकर कुछ समय के लिए रुकते हैं। वर्षा के दिनों के अलावा भी झील का अधिक क्षेत्र पानी से भरा रहता है। झील के आसपास का क्षेत्र हरा-भरा है।
ससुर खदेरी नदी को मिलेगा बल
इस झील के का जुड़ाव मोहद्दीपुर से निकलने वाले ससुर खदेरी नदी से भी है। अगर इस झील को विकास हुआ तो निश्चित तौर पर नदी भी हमेशा के लिए सदानीरा बन जाएगी। क्योंकि, इस झील में पानी का अथाह भंडारण है। जब नदी सूखने लगेगी तो इससे उसको जीवन मिलेगा। बता दें कि नदी को सदानीरा बनाने के लिए पहले ही पांच झीलों को खोदने और उन्हें बेहतर करने के लिए नमामि गंगे प्रोजेक्ट से 61.51 करोड़ की राशि मिल चुकी है।
वाच टावर और ठहराव स्थल बनेंगे
वन विभाग ने वन डिस्ट्रिक्ट वन डेस्टिनेशन के लिए जो प्लान भेजा है, उसमें अखनई झील का नाम शामिल है। वन विभाग ने यहां पर वाच टावर व दूरबीन लगाने के साथ ठहराव व पर्यटन की दृष्टि से कई सुविधाएं बनाने का प्रस्ताव शासन को पूर्व में भेजा है। अब जब इस स्थल का चयन हो गया है, तो निश्चित तौर पर इसमें विकास के और कार्य भी जोड़कर इसे पर्यटन स्थल के रुप में आकर्षक बनाने की उम्मीद जग गई है।
शासन ने वन डिस्ट्रिक्ट वन डेस्टिनेशन प्लान के लिए प्रस्ताव मांगा था, जिसमें अखनई झील का प्रस्ताव भेजा गया है। अब इसका चयन होने की सूचना मिल रही है, लेकिन अधिकृत पत्र अब तक नहीं मिला है। शासन के निर्देश पर अग्रिम कार्रवाई की जाएंगी।
रामानुज त्रिपाठी, डीएफओ