पुलिस व वन विभाग की मिलीभगत से मिट रही हरियाली
संवाद सूत्र मोहम्मदाबाद सरकार भले ही पर्यावरण संरक्षण के नाम पर करोड़ों का बजट खर्च क
संवाद सूत्र, मोहम्मदाबाद : सरकार भले ही पर्यावरण संरक्षण के नाम पर करोड़ों का बजट खर्च करती हो, लेकिन उनके ही रक्षक हरियाली मिटाने में लगे हुए हैं। क्षेत्र में कई बार लाखों की लागत से पौधे रोपित कराए गए। उनकी सुरक्षा के लिए शासन प्रशासन ने कोई व्यवस्था नहीं की। दूसरी ओर वन विभाग व पुलिस कर्मी लकड़ी ठेकेदारों से साठगांठ कर हरे पेड़ कटवाने में लगे हुए हैं।
कस्बे के मोहल्ला शास्त्री नगर से ताजपुर रोड की ओर जाने वाले मार्ग पर कई आम के पेड़ खड़े हैं। जिन पर हर वर्ष आम की फसल आती है। लकड़ी ठेकेदारों ने वन विभाग व पुलिस से साठगांठ कर ली और रात में पेड़ कटवा दिए। सुबह लोग उधर से निकले तो लकड़ी पड़ी देख दंग रह गए। स्थानीय लोगों ने ठेकेदार से पेड़ काटने का विरोध किया तो उन्हें धमकाकर भगा दिया। जब पुलिस को जानकारी दी गई तो उन्होंने भी हाथ खड़े कर दिए। ठेकेदार ने लोगों को धमकी दी कि उन्होंने वह वनविभाग व पुलिस विभाग को उनके हिस्से का रुपया दे चुके हैं। उनके खिलाफ कोई कार्रवाई नहीं होगी। ठेकेदार ने लोगों को बताया कि लकड़ी की कीमत का 33 फीसद हिस्सा पुलिस व 12 फीसद वन विभाग को देना पड़ता है। जिसे पहले ही नकद दे दिया गया है। वहीं क्षेत्र में वन विभाग ने जिन स्थानों पर प्रमुख सचिव व प्रभारी मंत्री की मौजूदगी में पौधरोपण कराया था, वह अधिकांश पौधे सूख चुके हैं। कुछ पौधे हरे हुए तो बेसहारा मवेशियों ने उन्हें नष्ट कर दिया। मोहम्मदाबाद कोतवाली प्रभारी राकेश कुमार ने बताया कि लकड़ी के कटान के बारे में जानकारी नहीं है। पेड़ काटने के मामले में जानकारी की जाएगी।