Move to Jagran APP

अखाड़ा परिषद की गरिमा से किया जा रहा खिलवाड़

अयोध्या कुछ लोग निजी स्वार्थ के लिए संतों की सर्वोच्च संस्था अखिल भारतीय अखाड़ा परिषद

By JagranEdited By: Published: Tue, 26 Oct 2021 11:44 PM (IST)Updated: Tue, 26 Oct 2021 11:44 PM (IST)
अखाड़ा परिषद की गरिमा से किया जा रहा खिलवाड़
अखाड़ा परिषद की गरिमा से किया जा रहा खिलवाड़

अयोध्या : कुछ लोग निजी स्वार्थ के लिए संतों की सर्वोच्च संस्था अखिल भारतीय अखाड़ा परिषद की गरिमा से खिलवाड़ कर रहे हैं। इसका उदाहरण गत सोमवार को प्रयागराज स्थित बाघंबरी गद्दी मठ में अखाड़ा परिषद की नई कार्यकारिणी का गठन है। यह चिता है, अखिल भारतीय अखाड़ा परिषद के प्रवक्ता एवं हनुमानगढ़ी से जुड़े महंत गौरीशंकरदास की।

loksabha election banner

वैदेहीभवन में मीडिया से मुखातिब उन्होंने बताया कि गत माह अखाड़ा परिषद के तत्कालीन अध्यक्ष महंत नरेंद्र गिरि के निधन के बाद 20 अक्टूबर को हरिद्वार के महानिर्वाणी अखाड़ा में बैठक कर बहुमत के आधार पर अखाड़ा परिषद के नए अध्यक्ष महानिर्वाणी अनी के श्रीमहंत रवींद्र पुरी सहित संपूर्ण कार्यकारिणी का निर्वाचन किया गया। इसके बावजूद इस प्रतिष्ठित संस्था पर अवैध कब्जा जमाने की फिराक में लगे गुट ने गत सोमवार को अखाड़ा परिषद के संविधान की धज्जी उड़ाते हुए समानांतर इकाई का पुनर्गठन किया। जबकि इस गुट के पास पुनर्गठन लायक बहुमत ही नहीं था।

गौरीशंकरदास के अनुसार अखाड़ा परिषद के अध्यक्ष एवं कार्यकारिणी के निर्वाचन के लिए 13 अखाड़ों में से कम से कम सात अखाड़ों का समर्थन जरूरी है, कितु प्रयाग की बाघंबरी गद्दी मठ की बैठक में मात्र छह अखाड़ों के समर्थन से विधिक रूप से गठित कार्यकारिणी को चुनौती देते हुए तथाकथित कार्यकारिणी गठित कर ली गई। गौैरीशंकरदास ने दावा किया कि इस बैठक में निर्मोही एवं और निर्मल अखाड़ा के जिन प्रतिनिधियों का समर्थन हासिल किया गया, वे अखाड़ा परिषद के चुनाव में मतदान के हकदार ही नहीं हैं। उन्होंने बताया कि अखाड़ा परिषद के चुनाव में संबंधित 13 अखाड़ों के श्रीमहंत अथवा सचिव ही भाग ले सकते हैं औैर निर्मोही एवं निर्मल अखाड़ा के श्रीमहंत 20 अक्टूबर को हरिद्वार में गठित कार्यकारिणी के समर्थन में मौजूद थे।


Jagran.com अब whatsapp चैनल पर भी उपलब्ध है। आज ही फॉलो करें और पाएं महत्वपूर्ण खबरेंWhatsApp चैनल से जुड़ें
This website uses cookies or similar technologies to enhance your browsing experience and provide personalized recommendations. By continuing to use our website, you agree to our Privacy Policy and Cookie Policy.