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आइटीएमएस के लिए शासन को भेजा 28 करोड़ का डीपीआर

शहर की यातायात नियंत्रण व्यवस्था को हाइटेक बनाने की योजना को मिला बल. अगले वर्ष में धरातल तक दिख सकता है इंटीग्रेटेड ट्रैफिक मैनेजमेंट सिस्टम.

By JagranEdited By: Published: Sun, 27 Dec 2020 06:59 AM (IST)Updated: Sun, 27 Dec 2020 06:59 AM (IST)
आइटीएमएस के लिए शासन को भेजा 28 करोड़ का डीपीआर
आइटीएमएस के लिए शासन को भेजा 28 करोड़ का डीपीआर

अयोध्या : यातायात नियंत्रण व्यवस्था को हाईटेक बनाने के लिए प्रस्तावित इंटीग्रेटेड ट्रैफिक मैनेजमेंट सिस्टम (आइटीएमएस) को गति मिलती नजर आ रही है। नगर निगम की ओर से योजना को साकार करने के लिए 28 करोड़ की विस्तृत कार्ययोजना बना ली गई है। इस कार्ययोजना को स्वीकृति के लिए शासन को भेज भी दिया गया है। माना जा रहा है कि अगले वर्ष की शुरुआत में इस योजना के क्रियान्वयन के लिए हरी झंडी मिल सकती है। स्मार्ट सिटी योजना के तहत इंटीग्रेटेड ट्रैफिक मैनेजमेंट सिस्टम को विकसित किया जाएगा। आइटीएमएस को पहले ही स्वीकृति मिल जाती, लेकिन नगर निगम सीमा विस्तार होने की वजह से इसे लेकर नए सिरे से रूपरेखा तैयार करनी पड़ी। नगर निगम में शामिल हुए गांवों को भी योजना से आच्छादित किया जाएगा।

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आइटीएमएस से यातायात नियंत्रण की आधुनिक व्यवस्था मिलेगी साथ ही जाम से भी काफी हद तक राहत मिलेगी। नगर निगम के जिम्मेदार भी मानते है कि राममंदिर निर्माण के बाद रामनगरी पर्यटन का मुख्य केंद्र होगी। ऐसे में यातायात व्यवस्था को बेहतर बनाया जाना आवश्यक हो जाता है। योजना के तहत शहर में चौक, सिविल लाइन, गुदड़ीबाजार, टेढ़ीबाजार सहित दस चौराहों पर सर्विलांस कैमरे व पब्लिक एड्रेस सिस्टम स्थापित किए जाएंगे, जिससे यातायात नियंत्रण को प्रभावी बनाने के साथ नियमों का उल्लंघन करने वालों की पहचान हो सकेगी। रिकाबगंज व अयोध्या नयाघाट पर ट्रैफिक कंट्रोल के लिए एडवांस सर्विलांस सिस्टम स्थापित किए जाएंगे। ट्रैफिक कंट्रोल के लिए इन दो स्थानों पर इंटीग्रेटेड लाइटें लगाई जाएंगी। इन लाइटों की खासियत उसमें लगे कैमरे होंगे, जो चौराहे से गुजरने वाले सभी वाहनों के नंबर पहचानने में सक्षम होंगे। इन लाइटों की विशेषता चौराहों पर स्वत: ट्रैफिक मैनेजमेंट की होगी। अगर किसी चौराहे पर एक ओर वाहनों की लंबी लाइन और दूसरी तरफ वाहन नहीं हैं तो रेड सिग्नल स्वत: ग्रीन हो जाएगा। इससे चौराहे पर किसी तरफ जाम नहीं लगेगा। अपर नगर आयुक्त सच्चिदानंद सिंह का कहना है कि डीपीआर शासन को स्वीकृति के लिए भेजा गया है, जिसके जल्द स्वीकृत होने के आसार हैं।

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बनेगा कंट्रोल रूम

-इंटीग्रेटेड लाइटों को कोऑर्डिनेट करने के लिए ट्रैफिक कंट्रोल रूम स्थापित किया जाएगा। यातायात व्यवस्था की निगरानी के साथ ही कंट्रोल रूम से संदिग्ध लोगों पर नजर रखने में आसानी होगी। शहर में वारदात करके भागते बदमाशों की डिजिटल नाकाबंदी की जा सकेगी।


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