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एमएलसी चुनाव: सुरक्षा के रहे चाक-चौबंद बंदोबस्त

दिनभर दौड़ती रहीं पुलिस की गाड़ियां डीएम-एसएसपी ने किया मतदान केंद्रों का दौरा

By JagranEdited By: Published: Wed, 02 Dec 2020 06:37 AM (IST)Updated: Wed, 02 Dec 2020 06:37 AM (IST)
एमएलसी चुनाव: सुरक्षा के रहे चाक-चौबंद बंदोबस्त
एमएलसी चुनाव: सुरक्षा के रहे चाक-चौबंद बंदोबस्त

जासं, एटा: एमएलसी चुनाव को लेकर सुरक्षा व्यवस्था चौकस रही। दिनभर पुलिस पार्टियां भ्रमण करती रहीं, कहीं भी भीड़ एकत्रित नहीं होने दी। बूथों पर भी सुरक्षा के पुख्ता इंतजाम देखने को मिले। पुलिस की गाड़ियां मतदान केंद्रों से लेकर शहरी एवं ग्रामीण क्षेत्रों में दौड़ती देखी गईं।

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प्रशासन ने किसी भी मतदान केंद्र पर भीड़ नहीं एकत्रित होने दी। प्रत्याशियों के समर्थकों के बस्ते ही केंद्रों से 200 मीटर की दूरी पर थे। जिलाधिकारी सुखलाल भारती और एसएसपी सुनील कुमार सिंह मतदान केंद्रों पर दौरा करने पहुंचे, जहां कुछ कमी पाई, वहां निर्देश दिए। उन्होंने मिरहची मतदान केंद्र का निरीक्षण किया और भीड़ हटवाई। मतदान केंद्र के अंदर मतदाताओं के अलावा किसी को भी अंदर जाने की इजाजत नहीं थी। पहले से ही सभी को चेक करके तब अंदर भेजा जा रहा था। अलीगंज तहसील में बनाए गए मतदान केंद्र पर दोपहर के वक्त प्रत्याशियों के समर्थकों की भीड़ एकत्रित हो गई। उसे हटाने के लिए मामूली नोक-झोंक भी हुई। जलेसर, मारहरा, मिरहची, निधौलीकलां, अवागढ़, सकीट, जैथरा, राजा का रामपुर, पिलुआ, मलावन समेत कस्बाई इलाकों व ग्रामीण क्षेत्रों में शांति बनी रही। ढूंढ़-ढूंढ़ कर लाए गए मतदाता, जुटी रहीं टीमें

जासं, एटा: एमएलसी चुनाव के लिए मतदाताओं को लाने में कार्यकर्ताओं की टीमें दिनभर जुटी रहीं। प्रत्याशियों ने मतदाताओं को लाने के लिए वाहनों का भी बंदोबस्त किया था। प्रत्याशियों के बस्तों पर मतदाताओं को समझाया जा रहा था कि उन्हें किस तरह अपने मताधिकार का प्रयोग करना है।

क्रिश्चियन इंटर कालेज मतदान केंद्र पर जब मतदान की गति धीमी देखी तो समर्थक चितित दिखाई दिए। एक दूसरे से पूछा गया कि कौन वोट डलने नहीं आया है तत्काल पहले से तैयार कारों को दौड़ाया गया। वहीं तमाम मतदाता ऐसे भी थे जो अपने साधनों से वोट डालने पहुंचे। एटा शहर में चार मतदान केंद्र बनाए गए थे। शेष 30 केंद्र कस्बाई इलाकों व ग्रामीण क्षेत्रों में थे। सभी केंद्रों पर प्रत्याशियों ने कार्यकर्ताओं की टीम तैनात की थीं। मतदाताओं को लाने वाली टीम अलग थी और बस्तों पर मौजूद रहने वाली टीम अलग। सुबह से लेकर शाम तक समर्थक यही गुणा-भाग लगाते रहे कि कितने वोट पड़ गए। मत फीसद बढ़ाने की चिता सभी को सताती रही। कई प्रत्याशियों के नहीं दिखाई दिए बस्ते: कहने को एमएलसी चुनाव में प्रत्याशियों की सूची लंबी थी, मगर बस्ते बहुत कम के दिखाई दिए। राजनीतिक दलों और कुछ चुनिदा प्रत्याशियों के ही बस्ते थे। स्नातक एमएलसी सीट के लिए 22 व शिक्षक सीट के लिए 16 उम्मीदवारों ने चुनाव लड़ा है। इनमें स्नातक सीट से तीन महिलाएं भी शामिल हैं, हालांकि शिक्षक सीट के लिए कोई महिला उम्मीदवार नहीं है।


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