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खाद का भाव लुढ़का, अन्नदाताओं को सहूलियत

पराली जलाने पर रोक से परेशान अन्नदाताओं की मुश्किलें बेमौसम बारिश ने बढ़ा दी है। खलिहान में पड़े अनाज जहां भीग गया वहीं गेहूं की बोआई पिछड़ गई। ऐसे में अन्नदाताओं के लिए राहत भरी खबर है। इफको ने फास्फेटिक उर्वरकों के दाम में कटौती किया है।डीएपी का सौ रुपये प्रति बोरी दाम घटा है।

By JagranEdited By: Published: Sat, 14 Dec 2019 07:39 PM (IST)Updated: Sat, 14 Dec 2019 07:39 PM (IST)
खाद का भाव लुढ़का, अन्नदाताओं को सहूलियत
खाद का भाव लुढ़का, अन्नदाताओं को सहूलियत

जासं, चकिया (चंदौली) : पराली जलाने पर रोक से परेशान अन्नदाताओं की मुश्किलें बेमौसम बारिश ने बढ़ा दी। खलिहान में पड़े अनाज जहां भींग गया, वहीं गेहूं की बोआई पिछड़ गई। ऐसे में अन्नदाताओं के लिए राहत भरी खबर है। इफको ने फास्फेटिक उर्वरकों के दाम में कटौती की है। डीएपी का सौ रुपये प्रति बोरी दाम घटा है। आयुक्त एवं निबंधक सहकारिता ने सभी जिला प्रबंधकों को पत्र भेजकर किसानों को कटौती किए दामों पर खाद बिक्री कराने के निर्देश दिए हैं।

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डीएपी पहले 1250 रुपये में मिलती थी। अब 1150 रुपये प्रति बोरी हो गई। एनपीके 12-32-16 प्रति बोरी 1185 की जगह 1100 रुपये हो गया है। जबकि एनपीके 1090 रुपये हो गया है। समितियों पर 30 नवंबर तक अवशेष फास्फेटिक उर्वरक पर अंतर धनराशि की प्रतिपूर्ति इफको द्वारा की जाएगी। सत्यापन रिपोर्ट के बाद धनराशि का भुगतान किया जाएगा। उर्वरकों का दाम घटने से अन्नदाताओं को राहत मिली है। लेकिन, बेमौसम बारिश से नुकसान उपज की चिता बनी है। यदि मौसम साफ नहीं होता है तो उन्हें खलिहानों में पड़ी उपज समेटने में मुश्किलें होंगी। जिला प्रबंधक ने बताया इफको के उर्वरक का दाम घटाया गया है। जो किसान एक दिसंबर के बाद बढ़े हुए दाम पर डीएपी खरीदे हैं, उनका पैसा वापस होगा।


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