झमाझम बारिश से बांध, बंधी, जलाशय हुए लबालब
लगातार झमाझम बारिश से बांध बंधी जलाशयों में पानी स्टोर होने का क्रम जारी है। मंगलवार को कर्मनाशा सिस्टम लबालब होने के कगार पर पहुंच गया है। वहीं चंद्रप्रभा सिस्टम में सिचाई के लिए 30 दिन का पानी इकट्ठा हो गया है। सिचाई विभाग के अधिशासी अभियंता सुरेश चंद्र ने मुसाखाड व चंद्रप्रभा बांध का जायजा लेते हुए मातहतों को सचेत रहने का निर्देश दिए हैं।
जासं, चकिया (चंदौली) : झमाझम बारिश से बांध, बंधी, जलाशयों में पर्याप्त पानी एकत्र हो गया। मंगलवार को कर्मनाशा सिस्टम लबालब होने के कगार पर पहुंच गया। वहीं चंद्रप्रभा सिस्टम में सिंचाई के लिए 30 दिन का पानी इकट्ठा हो गया है। सिचाई विभाग के अधिशासी अभियंता सुरेश चंद्र ने मूसाखाड व चंद्रप्रभा बांध का जायजा लेते हुए मातहतों को सचेत रहने का निर्देश दिए हैं।
एक सप्ताह से हो रही झमाझम बरसात का असर बांध बंधियों, जलाशयों के लिए काफी लाभप्रद साबित हुआ है। ऐसा अनुमान लगाया जा रहा है अगले दो-तीन दिनों में सभी बांध, जलाशय लबालब हो जाएंगे। समय से मानसून के दस्तक दे देने से किसानों की बल्ले बल्ले हो गई है। समय से बरसात का असर यह है कि कर्मनाशा सिस्टम के मूसाखाड़ बांध में 352.6 फीट पानी, भैसौड़ा बांध में 905.6, नौगढ़ 882.1 लतीफशाह बीयर 287.0 फीट पानी स्टोर हो गया है। कर्मनाशा सिस्टम पर आधारित बांध, बीयर लगभग महज 4 फीट खाली हैं। वहीं चंदप्रभा सिस्टम पर आधारित चंदप्रभा बांध में 762.2 फीट पानी इकट्ठा हो गया है। बांध में इकट्ठे पानी से लगभग 30 दिन की सिचाई की जा सकती है। यह बांध 9.8 फीट खाली है। मुजफ्फरपुर बीयर में 311.5 फीट पानी है, जो लबालब होने की स्थिति में है। सिचाई विभाग के सूत्रों की मानें तो पहाड़ी इलाके में रात्रि व दिन में बरसात होने से सामान्य स्थिति बनी हुई है। चंद्रप्रभा डिवीजन के अधिशासी अभियंता ने जलाशयों का दौरा करने के बाद एतिहात के तौर पर सहायक अभियंताओं व अवर अभियंताओं को सचेत किया। कहा बांध, बीयर की निगरानी बराबर करें। साथ ही आपात स्थिति से निपटने को तैयार रहें।