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आदेश के बाद भी नहीं मिल रहा 17 हजार मानदेय

उत्तर प्रदेश परिषदीय उच्च प्राथमिक विद्यालय में कार्यरत अनुदेशकों का एक प्रतिनिधि मंडल बुधवार को कलेक्ट्रेट में जिलाधिकारी नवनीत ¨सह चहल से मिला।

By JagranEdited By: Published: Wed, 05 Sep 2018 07:35 PM (IST)Updated: Wed, 05 Sep 2018 07:35 PM (IST)
आदेश के बाद भी नहीं मिल रहा 17 हजार मानदेय
आदेश के बाद भी नहीं मिल रहा 17 हजार मानदेय

जागरण संवाददाता, चंदौली : उत्तर प्रदेश परिषदीय उच्च प्राथमिक विद्यालय में कार्यरत अनुदेशकों को अबभी 17 हजार रुपये मानदेय नहीं मिल रहा है। इस बाबत एक प्रतिनिधि मंडल बुधवार को जिलाधिकारी नवनीत ¨सह चहल से मिला। इसमें अनुदेशकों ने समस्याओं को अवगत कराते हुए तत्काल निस्तारण की मांग की। उन्होंने डीएम को उपमुख्यमंत्री दिनेश शर्मा के नाम संबोधित पांच सूत्रीय ज्ञापन सौंपा। साथ ही चेताया सरकार मांगों पर विचार नहीं करेगी तो अनुदेशक आंदोलन करेंगे।

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जिलाध्यक्ष आशीष कुमार रघुवंशी ने कहा प्रदेश सरकार अनुदेशकों के हितों को देखते हुए मांगों पर तत्काल विचार करें। राज्य सरकार की स्वीकृति और भारत सरकार की मंजूरी के बाद भी उन्हें 17 हजार रुपये मानदेय नहीं मिल पा रहा है। इस पर सरकार तत्काल पहल करें। राज्य परियोजना कार्यालय द्वारा शासन को प्रेषित प्रस्ताव का शासनादेश तत्काल जारी किया जाए। प्रति वर्ष नवीनीकरण के नाम पर विद्यालय स्तर से जिला स्तर तक हो रहे शोषण पर रोक लगाई जाए। महिला अनुदेशकों को विवाह के उपरांत ससुराल के नजदीक विद्यालय में स्थानांतरण की सुविधा प्रदान की जाए। दुर्घटना व मानदेय के अवसाद में आत्महत्या करने पर परिवार को 25 लाख रुपये की आर्थिक सहायता दी जाए। इससे अनुदेशकों का मनोबल बढ़ेगा। इस दौरान अनुज कुमार मिश्र, रामजी, संदीप ¨सह, अमित दास, अनिल कुमार गौतम, मनीषा ¨सह, संजय ¨सह, नत्थू यादव, विकास तिवारी आदि उपस्थित थे।


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