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आंदोलनरत भाकियू कार्यकर्ताओं के लिए खाद्य सामग्री लेकर रवाना हुए किसान

भारतीय किसान महासंघ के आह्वान पर भाकियू के दो गुट किसानों के साथ मंगलवार को दिल्ली के लिए रवाना हुए। पदाधिकारियों ने हापुड़ रोड पर प्रदर्शन करते हुए कृषि कानून तथा बिजली बिल में की। उधर भाकियू महाशक्ति ने जनपसंपर्क कर तीन दिसंबर को सैकड़ों किसानों के दिल्ली कूच करने की घोषणा की है।

By JagranEdited By: Published: Wed, 02 Dec 2020 06:12 AM (IST)Updated: Wed, 02 Dec 2020 06:12 AM (IST)
आंदोलनरत भाकियू कार्यकर्ताओं के लिए खाद्य सामग्री लेकर रवाना हुए किसान
आंदोलनरत भाकियू कार्यकर्ताओं के लिए खाद्य सामग्री लेकर रवाना हुए किसान

जेएनएन, बुलंदशहर। भारतीय किसान महासंघ के आह्वान पर भाकियू के दो गुट किसानों के साथ मंगलवार को दिल्ली के लिए रवाना हुए। पदाधिकारियों ने हापुड़ रोड पर प्रदर्शन करते हुए कृषि कानून तथा बिजली बिल में की। उधर, भाकियू महाशक्ति ने जनपसंपर्क कर तीन दिसंबर को सैकड़ों किसानों के दिल्ली कूच करने की घोषणा की है।

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भारतीय किसान यूनियन के प्रदेश सचिव व पूर्व जिलाध्यक्ष बिशन पाल सिंह सिरोही ने प्रदर्शन के दौरान कहा कि तीनों कृषि कानून किसान विरोधी हैं। दिल्ली में आंदोलनरत किसानों पर पानी की बौछारें डाले जाने व आंसू गैस के गोले दागे जाने पर किसानों में आक्रोश व्याप्त है। जत्थे में धर्मेंद्र सिंह चित्सौना, राजेंद्र सिंह, सतेन्द्र सिंह, महिपाल सिंह, जयपाल सिंह, राजपाल सिंह, जुगेंद्र सिंह, राजेंद्र सिंह, देवेंद्र सिंह, सुरेंद्र सिंह, गुलबीर सिंह, मनोज कुमार सिंह, कुंवरपाल सिंह व जयपाल आदि शामिल रहे। उधर, भारतीय किसान यूनियन टिकैत के कार्यकर्ताओं ने स्याना-हापुड़ मार्ग पर सरकार के विरुद्ध जमकर प्रदर्शन किया। मंगलवार को भाकियू के पूर्व जिलाध्यक्ष गुड्डू प्रधान के नेतृत्व में दर्जनों कार्यकर्ता नगर स्थित महबूब चौधरी के आवास पर एकत्रित हुए। जहां कार्यकर्ताओं को संबोधित करते हुए गुड्डू प्रधान ने कहा कि जब तक सरकार किसान विरोधी कानून को वापस नहीं लेगी तब तक कार्यकर्ता सड़कों पर प्रदर्शन करते रहेंगे। इस दौरान महबूब चौधरी, किशन दत्त त्यागी, सतीश त्यागी, अरहम खान, अरविद शर्मा, बसंत त्यागी, परवेज चौधरी व राजीव त्यागी आदि कार्यकर्ता मौजूद रहे।

वहीं, भाकियू महाशक्ति ने आहार, डिबाई, अनूपशहर, खुर्जा और सिकंदराबाद में जनसंपर्क करके तीन दिसंबर को दिल्ली कूच करने का एलान किया है। राष्ट्रीय ठाकुर धर्मेद्र सिंह ने बताया कि दिल्ली में किसानों के लिए सरकार ने कोई सुविधा नहीं दी है। यदि यह आंदोलन जातिगत होता तो दिल्ली और केंद्र सरकार के नेतागण लोगों की मानमनोव्वल करते दिखते। उन्होंने कहा कि किसानों के लिए खाद्य सामग्री भी लेकर जाएंगे।


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