यूपी में 'पानीपत' का प्रदर्शन रोकें
जाट अधिवक्ता संघ ने पानीपत फिल्म के निर्माता निर्देशक का प्रतीकात्मक पुतला फूंका।
बिजनौर, जेएनएन: जाट अधिवक्ता संघ ने पानीपत फिल्म के निर्माता निर्देशक का प्रतीकात्मक पुतला फूंका। प्रदर्शनकारियों का कहना था कि फिल्म में ऐतिहासिक तथ्यों को खंडित करते हुए महाराजा सूरजमल का चरित्र प्रदर्शित किया गया है। फिल्म में दिखाए गए दृश्यों से जाट बिरादरी के साथ साथ समाज के विभिन्न वर्गो की भावनाएं आहत हुई हैं।
जाट अधिवक्ता संघ की ओर से किए गए प्रदर्शन में बार एसोसिएशन के अध्यक्ष ज्ञानेंद्र जंघाला, अशोक तोमर, सुभाष सिंह, धीरेंद्र सिंह, रोहिताश अहलावत, नौबहार सिंह, टीकम सिंह, लोकेंद्र सिंह, देवेंद्र कुमार, सुमित कुमार, संदीप चौधरी, कामेंद्र सिंह सहित कई अधिवक्ता शामिल हुए। तहसील कंपाउंड के बाहर मुख्य मार्ग पर एकत्र हुए अधिवक्ताओं ने फिल्म पानीपत के निर्माता निर्देशक के खिलाफ नारेबाजी की और फिर उनका प्रतीकात्मक पुतला फूंका। ज्ञानेंद्र जंघाला ने कहा कि पानीपत फिल्म में इतिहास को तोड़-मरोड़ कर मनमाने ढंग से प्रस्तुत किया गया है। अनर्गल घटनाएं प्रदर्शित कर महापुरुषों की ख्याति को क्षति पहुंचाई गई है। जाट अधिवक्ता संघ ने राज्यपाल को संबोधित ज्ञापन एसडीएम को सौंपा, जिसमें उत्तर प्रदेश में पानीपत फिल्म के प्रदर्शन पर रोक लगाने और फिल्म के निर्माता निर्देशक के खिलाफ कड़ी कार्रवाई करने की मांग की।