चक्रव्यूह में सियासत के सूरमा, बरेली मंडल की चार वीआइपी सीटों पर होगा घमासान
UP Chunav 2022 Bareilly VIP Seats मंडल की 25 सीटों पर राजनीतिक दम दिखाने के लिए सभी दल जुटे हुए हैं। इनमें चार सीटों पर मुकाबला बेहद दिलचस्प होने जा रहा है।सीटें भाजपा सरकार के मंत्रियों व संगठन पदाधिकारी के पास हैं।
बरेली, जेएनएन। UP Chunav 2022 Bareilly VIP Seats : मंडल की 25 सीटों पर राजनीतिक दम दिखाने के लिए सभी दल जुटे हुए हैं। इनमें चार सीटों पर मुकाबला बेहद दिलचस्प होने जा रहा है।सीटें भाजपा सरकार के मंत्रियों व संगठन पदाधिकारी के पास हैं। विपक्षी इन्हें सीधी चुनौती देने के लिए डट गए हैं। इनका रास्ता टोकने लिए राजनीतिक चक्रव्यूह तैयार किया जा रहा। कद-अनुभव के साथ जनता के बीच लंबे समय रहने वाले इन नेताओं के सामने यह चक्रव्यूह भेदने की चुनौती होगी।
बरेली कैंट सीट से राजेश अग्रवाल
बरेली कैंट सीट से राजेश अग्रवाल बीता चुनाव जीते थे। पहले शहर, इसके बाद इस सीट से दूसरा चुनाव जीतने के बाद प्रदेश सरकार में मंत्री बने। बाद में इस्तीफा हुआ तो केंद्रीय राजनीति में उनका कद बढ़ा दिया गया। राष्ट्रीय स्वयं सेवक संघ की पृष्ठभूमि से भाजपा में राजनीति करने वाले राजेश अग्रवाल इस समय पार्टी के राष्ट्रीय कोषाध्यक्ष हैं। आगामी चुनाव में भी वह मैदान सजा रहे हैं। वर्ष 2012 के परिसीमन से पहले इस सीट पर सपा, कांग्रेस और बसपा दम दिखा चुकी है मगर, बाद में स्थितियां बदल गई। बदले परिसीमन के बाद अब तीसरे चुनाव में सपा और कांग्रेस नये सिरे से तैयारी कर रही है।
बहेड़ी से राज्यमंत्री छत्रपाल सिंह
जिले की दूसरी वीआइपी सीट बहेड़ी की है। यहां से छत्रपाल सिंह गंगवार विधायक हैं। कुछ महीने पहले उन्हें राजस्व राज्यमंत्री बनाया गया। उन्हें प्रदेश मंत्रिमंडल में शामिल करने के पीछे माना जा रहा था कि गंगवार वोट बैंक को एकजुट करते रहेंगे।
शाहजहांपुर में सुरेश खन्ना की पारी
शहर सीट से सुरेश कुमार खन्ना का इस बार भी चुनाव में उतरना तय है। यहां मतों का ध्रुवीकरण नतीजों में काफी अहम भूमिका निभाता है। 1989 से अब तक वह लगातार आठ बार भाजपा के टिकट पर चुनाव जीत चुके हैं। दो बार कल्याण सिंह सरकार में राज्यमंत्री रहे सुरेश खन्ना मौजूदा समय में प्रदेश सरकार में वित्त, संसदीय कार्य व चिकित्सा शिक्षा मंत्रलय की जिम्मेदारी संभाल रहे हैं। वर्ष 2012 व 2017 में लगातार दो बार से सपा जिलाध्यक्ष तनवीर खां को इस सीट पर हार का सामना करना पड़ा। इस बार सपा में एक धड़ा प्रत्याशी बदलने की मांग भी कर रहा है। हालांकि अंतिम निर्णय हाईकमान ही लेगा। बसपा व कांग्रेस भी घेटाबंदी में जुटे हैं।
बदायूं में राज्यमंत्री महेश गुप्ता
पिछले चुनाव में सदर विधानसभा सीट से विधायक बने महेश चंद्र गुप्ता नगर विकास राज्यमंत्री हैं। सत्तारूढ़ पार्टी के टिकट के दावेदारों में तक इन्हीं का नाम सबसे आगे है। कांग्रेस से भाजपा को यहां कोई खता नहीं दिख रहा है। बसपा यहां से राजेश कुमार सिंह को टिकट देकर मैदान में उतार चुकी है। पिछले विधानसभा चुनाव में यहां भाजपा और सपा के बीच कड़ी टक्कर हुई थी, जिसमें भाजपा ने सपा से सीट छीनी थी। पिछले चुनाव में भाजपा को कड़ी टक्कर देने वाले आबिद रजा इस समय सपा से बाहर हैं। सपा के लिए भी यह सीट प्रतिष्ठा का विषय है, इसलिए ठोंक बजाकर उम्मीदवार मैदान में उतारने के लिए जिद्दोजहद कर रही है। भाजपा के टिकट वितरण के बाद ही तस्वीर साफ हो सकेगी।