बरेली जंक्शन के निजीकरण की तैयारी, अधिकारियों के दौरे तेज Bareilly News
इससे पहले दो सालों में पांच से छह बार ही अधिकारी आए। जंक्शन के अलग-अलग महकमों से बिंदुवार ब्योरा भी लिया जा चुका है।
बरेली, जेएनएन : देश के चुनिंदा स्टेशनों के साथ ही बरेली जंक्शन के भी निजीकरण की तैयारी चल रही है। पिछले तीन महीनों में मुरादाबाद मंडल स्तर से डीआरएम यानी मंडल रेल प्रबंधक समेत अन्य वरिष्ठ अधिकारियों ने आधा दर्जन से ज्यादा बार दौरा किया है। जबकि इससे पहले दो सालों में पांच से छह बार ही अधिकारी आए। जंक्शन के अलग-अलग महकमों से बिंदुवार ब्योरा भी लिया जा चुका है। मंडल स्तर के अधिकारियों ने अपने दौरे में जंक्शन की बुनियादी सुविधाओं और संसाधनों के बारे में जाना। वहीं, अधिकारिक सूत्रों के मुताबिक जल्द ही जंक्शन पर क्वालिटी चेकिंग टीम सर्वे के लिए आएगी। जंक्शन के अलावा उत्तर रेलवे में मुरादाबाद मंडल मुख्यालय समेत करीब 12 अन्य स्टेशन भी हैं।
आइएसओ सर्टिफिकेट के बाद कवायद
जंक्शन पर क्वालिटी कंट्रोल सर्वे के लिए आने वाली टीम सभी विभागों में जाकर वहां सुविधाओं का जायजा लेगी। इसके अलावा जंक्शन पर ट्रेनों, पार्सल घर, सफाई, बुनियादी सुविधाओं, कैंटीन, पार्किंग आदि की जानकारी भी लेगी। अगर टीम सर्वे में संतुष्ट होती है तो इंडियन स्टैंडर्ड ऑर्गनाइजेशन (आइएसओ) सर्टिफिकेट मिलेगा। इसके बाद तय होगा कि बरेली जंक्शन का निजीकरण होगा या नहीं।
निजी हाथों में महंगी होगी हर व्यवस्था
जंक्शन का निजीकरण होने के बाद हर महत्वपूर्ण व्यवस्था निजी हाथों में होगी। मसलन, ट्रेनों के लिए टिकट बिक्री से लेकर पार्किंग, कैंटीन, सफाई आदि व्यवस्था निजी कंपनी ही करेगी। फिलहाल बरेली जंक्शन पर सफाई व्यवस्था की जिम्मेदारी निजी कंपनी पहले से संभाले हुए है।
महंगा होने की उम्मीद ज्यादा
विशेषज्ञों का कहना है कि निजीकरण होने पर व्यवस्थाएं बेहतर हो सकती हैं, लेकिन सुविधाओं के एवज में कीमत काफी ज्यादा देनी होगी। इसमें ट्रेन टिकट, प्लेटफार्म टिकट, वाहनों का पार्किंग शुल्क ज्यादा होने की पूरी संभावना रहेगी।
इन स्टेशनों पर भी सर्वे
क्वालिटी चेकिंग सर्वे की टीम बरेली जंक्शन के अलावा कई अन्य जंक्शनों के लिए सर्वे करेगी। इस पर मंडल मुख्यालय मुरादाबाद, हरदोई, चंदौसी, अमरोहा, बालामऊ, रामपुर, नजीबाबाद, हरिद्वार, हापुड़ और देहरादून व दो अन्य रेलवे स्टेशन हैं।