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Protest Against Mahant Narasimhanand Saraswati : महंत नरसिंहानंद सरस्वती के विरोध में बरेली के मुस्लिम बहुल इलाकों में बंद रहे बाजार, जुमे की नमाज के बाद बड़ी संख्या में मुस्लिम विरोध को निकले, कोविड गाइडलाइन का नहीं हुआ पालन

Protest Against Mahant Narasimhanand Saraswati इस्लामिया ग्राउंड पर प्रदर्शन के लिए गुरुवार रात से ही मस्जिदों से एलान होने लगा था। अलग-अलग मस्जिदों में शुक्रवार दोपहर 12 बजे से दो बजे के बीच में जुमे की नमाज अदा होनी थी लेकिन पहले ही लोग सड़कों पर आ गए।

By Samanvay PandeyEdited By: Published: Sat, 10 Apr 2021 07:10 AM (IST)Updated: Sat, 10 Apr 2021 07:10 AM (IST)
Protest Against Mahant Narasimhanand Saraswati : महंत नरसिंहानंद सरस्वती के विरोध में बरेली के मुस्लिम बहुल इलाकों में बंद रहे बाजार, जुमे की नमाज के बाद बड़ी संख्या में मुस्लिम विरोध को निकले, कोविड गाइडलाइन का नहीं हुआ पालन
हाथ में तख्तियां और आक्रोश, इस्लामिया ग्राउंड में किया विरोध, टिप्पणी को लेकर महंत की गिरफ्तारी की मांग।

बरेली, जेएनएन।Protest Against Mahant Narasimhanand Saraswati : गाजियाबाद के महंत नरसिंहानंद सरस्वती की एक टिप्पणी के विरोध में शुक्रवार को मुस्लिम संप्रदाय के लोग बड़ी संख्या में सड़कों पर प्रदर्शन के लिए उतर आए। सुबह से मुस्लिम बहुल इलाकों में प्रतिष्ठान बंद रहे। जुमे की नमाज के बाद महंत की गिरफ्तारी की मांग करते हुए इस्लामिया ग्राउंड में जम गए। वहां प्रदर्शन के साथ नारेबाजी की। कोविड गाइडलाइन तार-तार करते हुए भीड़ सड़क पर आई तो शहर में जगह-जगह जाम लग गया। इससे हर कोई परेशान रहा। प्रदर्शन जमात रजा-ए-मुस्तफा के आह्वान पर हुआ। इस्लामिया ग्राउंड पर ही एसएसपी रोहित सिंह सजवाण, एसपी सिटी रविंदर कुमार और एसडीएम सिटी महेंद्र सिंह ने प्रदर्शनकारियों से ज्ञापन लिया। इसमें कहा कि महंत की टिप्पणी से उनकी धार्मिक भावनाएं आहत हुई हैैं। लिहाजा, उन्हें गिरफ्तार कर सख्त कानूनी कार्रवाई की जाए।

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इस्लामिया ग्राउंड पर प्रदर्शन के लिए गुरुवार रात से ही मस्जिदों से एलान होने लगा था। अलग-अलग मस्जिदों में शुक्रवार दोपहर 12 बजे से दो बजे के बीच में जुमे की नमाज अदा होनी थी, लेकिन करीब 12.30 बजे ही नमाज के बाद लोग जुलूस के रूप में सड़कों पर आ गए। वे नारेबाजी कर रहे थे कि धार्मिक टिप्पणी बर्दाश्त नहीं करेंगे। प्रदर्शनकारी हाथों में तख्तियां भी लिए थे, जिन पर महंत की गिरफ्तारी और सजा की मांग समेत विरोध जताने वाले नारे लिखे थे। श्यामगंज, सैलानी, किला, जखीरा, स्वालेनगर समेत विभिन्न मुस्लिम बहुल इलाकों से बड़ी संख्या में लोग पैदल, ई-रिक्शा और ऑटो में निकले, तो रास्ते जाम हो गए। चौराहों और तिराहों पर पुलिस तकरीबन पूरे दिन मशक्कत करती रही।

दरगाह से जुड़े कुछ लोग दूर रहे

मुस्लिम संप्रदाय के लोग सड़कों पर मुफ्ती असजद रजा खां की अगुवाई में उतरे। जमात रजा मुस्तफा के बैनर तले शहर और गांव से बड़ी संख्या में लोग जमा हुए। जमात का दावा है कि आगरा, कासगंज, पीलीभीत और बदायूं से भी लोग इस प्रदर्शन में शामिल होने के लिए बरेली पहुंचे। शाह सकलैन अकादमी के प्रदेश अध्यक्ष हाजी लतीफ, गाजी मियां, आफताब सकलैनी भी शामिल रहे। हालांकि यह भी अहम बात दिखी कि दरगाह से जुड़े बाकी लोगों ने इस प्रदर्शन से दूरी बनाए रखी।

क्या है मामला

महंत नरसिंहानंद ने हाल में दिल्ली प्रेस क्लब में पत्रकारों से बातचीत में एक टिप्पणी की थी, मुस्लिम समाज लगातार उसका विरोध कर महंत की गिरफ्तारी की मांग कर रहा है।


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