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Licensed Revolver Case : पूर्व सांसद प्रवीण सिंह ऐरन के खिलाफ संयुक्त सचिव ने कोर्ट में दी गवाही, जानें पूरा मामला

Licensed Revolver Case पूर्व सांसद प्रवीण सिंह ऐरन के लाइसेंसी रिवाल्वर प्रकरण को लेकर शुक्रवार को केंद्रीय सूचना प्रौद्योगिकी मंत्रालय में संयुक्त सचिव भुवनेश कुमार कोर्ट में गवाही देने पहुंचे। सुनवाई के दौरान ऐरन कोर्ट में उपस्थित नहीं हुए।पूर्व मेयर सुप्रिया ऐरन कोर्ट में सुनवाई के दौरान मौजूद रहीं।

By Samanvay PandeyEdited By: Published: Sat, 25 Sep 2021 07:50 AM (IST)Updated: Sat, 25 Sep 2021 07:50 AM (IST)
Licensed Revolver Case : पूर्व सांसद प्रवीण सिंह ऐरन के खिलाफ संयुक्त सचिव ने कोर्ट में दी गवाही, जानें पूरा मामला
धारा 144 उल्लंघन का है मामला, स्पेशल कोर्ट ने सुनवाई के लिए एक अक्टूबर नियत की तारीख।

बरेली, जेएनएन। Licensed Revolver Case : पूर्व सांसद प्रवीण सिंह ऐरन के लाइसेंसी रिवाल्वर प्रकरण को लेकर शुक्रवार को केंद्रीय सूचना प्रौद्योगिकी मंत्रालय में संयुक्त सचिव भुवनेश कुमार कोर्ट में गवाही देने पहुंचे। सुनवाई के दौरान ऐरन कोर्ट में उपस्थित नहीं हुए। पूर्व मेयर सुप्रिया ऐरन कोर्ट में सुनवाई के दौरान मौजूद रहीं। स्पेशल कोर्ट ने सुनवाई के लिए एक अक्टूबर तारीख नियत की है। मामला एमएलए एमपी मामलों की सुनवाई कर रही विशेष कोर्ट में विचाराधीन है।

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वर्ष 2006 के तत्कालीन जिलाधिकारी भुवनेश कुमार ने नगर निगम चुनाव में रिवाल्वर प्रकरण का वाद दायर कराया था। पूर्व जिला मजिस्ट्रेट भुवनेश कुमार ने अपने बयान में कहा कि दीपावली ईद-उल-फितर व नगर निकाय चुनाव के दौरान जनपद में धारा 144 लगाने का आदेश दिया था। उक्त आदेश का प्रचार-प्रसार भी जिले भर में समुचित तरीके से कराया था। जिसमें किसी सार्वजनिक स्थान पर दौ सौ मीटर दूरी तक कोई असलहा ले जाना प्रतिबंधित था।

31 अक्टूबर 2006 को नगर निगम चुनाव के दौरान मतदान केंद्र दीनानाथ इंटर कॉलेज जोगीनवादा थाना बारादरी पर पूर्व सांसद प्रवीण सिंह ऐरन आदेश की जानकारी होने के बावजूद अपना लाइसेंसी रिवाल्वर 32 बोर मय 14 कारतूस दोपहर 3 बजे पहुंच गए। वहीं उनका लाइसेंसी रिवाल्वर गिर गया था। जिसे ड्यूटी पर तैनात दारोगा रविंद्र प्रताप सिंह ने बारादरी थाना में दाखिल किया था। इस मामले का वाद नौ जनवरी 2007 को उनके द्वारा एसीजेएम-प्रथम की कोर्ट में दायर किया गया। एक सवाल के जवाब में उन्होंने कहा कि दीनानाथ इंटर कॉलेज का कैंपस कितना बड़ा है, यह जानकारी उनको नहीं है। डीएम को व्यक्तिगत रूप से हर क्षेत्र की जानकारी रखना संभव नहीं है।

धारा 144 की निषेधाज्ञा सार्वजनिक रूप से जारी की जाती है, निजी तौर पर नहीं। उन्होंने कहा कि जिस दिन की यह घटना है मैं घटनास्थल पर मौजूद नहीं था। मुझे यह जानकारी इंस्पेक्टर बारादरी के जरिए अगले दिन मिली। रिवाल्वर कहां गिरा, कब गिरा ऐसा इंस्पेक्टर की रिपोर्ट में नहीं था। पुलिस आख्या में यह भी नहीं लिखा था कि किन गवाहों के सामने रिवाल्वर व कारतूस बरामद हुए। उन्होंने कहा कि वह प्रवीण सिंह ऐरन को व्यक्तिगत रुप से नहीं जानते हैं। शुक्रवार को पूर्व सांसद प्रवीण सिंह ऐरन कोर्ट में मौजूद नहीं थे। उनकी ओर से अधिवक्ता के जरिए हाजिरी माफी की अर्जी पेश की गई।

रिवाल्वर बरामद करने वाला दारोगा तलब : बचाव पक्ष से वरिष्ठ अधिवक्ता बार एसोसिएशन के अध्यक्ष घनश्याम शर्मा ने कहा कि प्रवीण सिंह ऐरन को दलगत राजनीति के चलते सत्तारूढ़ पार्टी के दबाव में मामले में फंसाया गया। उन्होंने अपना रिवाल्वर थाने में जमा किया था पुलिस ने केस बनाने को झूठी बरामदगी दिखा दी। अगली तिथि पर रिवाल्वर बरामद करने वाले दारोगा को बतौर गवाह तलब किया जाएगा।

घनश्याम शर्मा ने पूछा- क्या कहकर संबोधित करें : कोर्ट में प्रवीण सिंह ऐरन की तरफ से बार एसोसिएशन के अध्यक्ष घनश्याम शर्मा ने पूर्व जिलाधिकारी से जिरह की। उन्होंने जिरह से पूर्व बतौर गवाह भुवनेश कुमार से पूछा कि वह बरेली में जिलाधिकारी रहे हैं। यह घटनाक्रम उसी दौर का है। लिहाजा वे उन्हें वर्तमान पद के अनुसार संयुक्त सचिव कहें या जिलाधिकारी कहकर संबोधित करें? तब उन्होंने कहा कि वे उन्हें जिरह के दौरान उनके निजी नाम भुवनेश कुमार का ही इस्तेमाल करें। 


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