एसटीएफ के इंतजार में दबा राशन घोटाला
एसटीएफ के इंतजार में गरीबों के हिस्से का राशन घोटाला करने वालों की तलाश सुस्त पड़ गई है।
जागरण संवाददाता, बरेली : एसटीएफ के इंतजार में गरीबों के हिस्से का राशन घोटाला करने वालों की तलाश सुस्त पड़ गई है। बरेली में राशन की बारह दुकानों से करीब 300 कुंतल से अधिक अनाज कैसे घोटाले की भेंट चढ़ गया? अब तक ये राज ही बना है। बहरहाल खाद्य एवं रसद विभाग भी एसटीएफ जांच की राह ताक रही है।
बरेली समेत प्रदेश के 43 जिलों में राष्ट्रीय खाद्य सुरक्षा योजना के सॉफ्टवेयर में सेंधमारी कर अनाज घोटाला किया गया था। इस मामले में बरेली के दस कोटेदारों के विरुद्ध खाद्य एवं रसद विभाग मुकदमा दर्ज करा चुका है। वहीं, शासन ने इस पूरे प्रकरण की जांच एसटीएफ को सौंपी है। बाकी जिलों में जांच कर बरेली में भी एसटीएफ को पहुंचना है, पर अब तक यहां उसकी दस्तक नहीं हुई है। वहीं, कोटेदार इस पूरे प्रकरण में लगातार अधिकारियों की भूमिका पर भी सवाल उठा रहे हैं। घोटाले में फंसे एक कोटेदार ने कहा कि अधिकारियों के बिना कोई भी गड़बड़ी संभव नहीं है। उनकी भूमिका भी जांची जानी चाहिए।
78 दुकानों पर बैठी थी जांच
शासन की जांच के दायरे में बरेली की 78 राशन की दुकानें आई थी। हालांकि विभाग के मुताबिक 66 दुकानों से केवल 119 ट्रांजेक्शन हुए हैं, इसमें गड़बड़ी नहीं है।
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विभागीय स्तर पर कोटेदारों के विरुद्ध कार्रवाई की जा चुकी है। अब एसटीएफ आगे की जांच कर रही है।
सीमा त्रिपाठी, डीएसओ
तथ्य
-कोटेदारों पर एफआइआर से भी नहीं खुला घोटाले का राज
-बरेली समेत 43 जिलों में सॉफ्टवेयर में की गई थी सेंधमारी