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Delhi Violence : शाहरुख को बरेली में मिली थी पनाह, जानिये उसका ड्रग्स माफिया कनेक्शन...

Delhi Violence बताया जा रहा है कि दिल्ली हिंसा में फायरिंग के बाद वह छिपते हुए ननिहाल तक आ गया। अब उसके बारे में कई राजफाश हो रहे हैं।

By Umesh TiwariEdited By: Published: Tue, 03 Mar 2020 07:56 PM (IST)Updated: Tue, 03 Mar 2020 08:01 PM (IST)
Delhi Violence : शाहरुख को बरेली में मिली थी पनाह, जानिये उसका ड्रग्स माफिया कनेक्शन...
Delhi Violence : शाहरुख को बरेली में मिली थी पनाह, जानिये उसका ड्रग्स माफिया कनेक्शन...

बरेली, जेएनएन। Delhi Violence : नागरिकता संशोधन कानून (CAA) के खिलाफ दिल्ली के मौजपुर चौक में 24 फरवरी को खुलेआम पिस्टल लहराने वाले शाहरुख का फोटो वायरल होने के बाद पुलिस उसकी तलाश में थी। बचने के लिए ड्रग्स तस्करी का कनेक्शन व रिश्तेदारी उसे बरेली तक ले आई। हालांकि शाहरुख को दिल्‍ली पुलिस ने उत्‍तर प्रदेश के शामली के पास से मंगलवार को गिरफ्तार कर लिया। अब उसके बारे में कई राजफाश हो रहे हैं।

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बरेली के मीरगंज कस्बे के खानपुरा मुहल्ले में शाहरुख का मौसा बब्बू, मौसी मुन्नी और मौसेरा भाई सलमान रहता है। कुछ ही दूरी पर उसकी ननिहाल है। माना जा रहा है कि दिल्ली हिंसा में फायरिंग के बाद वह छिपते हुए ननिहाल तक आ गया। मुहल्ले वालों के अनुसार तीन दिन तक गाड़ियों की आवाजाही ज्यादा रही थी। उनमें से किसी में शाहरुख भी हो सकता है। स्थानीय पुलिस चुप्पी साधे बैठी है।

पिता की ड्रग्स तस्करों से करीबी, मौसा भी जा चुका जेल

शाहरुख का पिता साबिर राणा और मौसा बब्बू ड्रग्स तस्करी में पकड़ा जा चुका है। मीरगंज में रिश्तेदारी होने के कारण साबिर का आना-जाना रहता। इसी कस्बे से 15 किमी दूर फतेहगंज पश्चिमी में बड़े पैमाने पर ड्रग्स तस्करी होती है। साबिर वहां के कई तस्करों के संपर्क में भी रहता था। यही वजह रही कि मीरगंज में ननिहाल होने और फतेहगंज में पिता के ड्रग्स तस्करी कनेक्शन होने के कारण उसे यही इलाका छिपने के लिए सबसे मुफीद लगा। शाहरुख की गिरफ्तारी के बाद उसका मौसेरा भाई सलमान घर से खिसक गया। इसके अलावा खबरें प्रकाशित होने और दिल्ली पुलिस के मूवमेंट की भनक लगी तो कस्बे के सात घरों में ताला पड़ गया। उनमें रहने वाले लोग फरार हो गए।

खुफिया तंत्र फेल, पुलिस बेखबर

शाहरुख की ननिहाल मीरगंज में है, इसकी जानकारी पूरे मुहल्ले को है। जाहिर है कि बीट सिपाही या हल्का दारोगा को भी पता होगा। इसके बावजूद स्थानीय पुलिस ने इसका जिक्र अफसरों से नहीं किया। दूसरी ओर शाहरुख तीन दिन तक यहां रुका, उसकी जानकारी भी नहीं होने की बात कही जा रही। ऐसे में सवाल उठ रहा कि पुलिस का खुफिया तंत्र फेल है। बरेली के एडीजी अविनाश चंद्र ने बताया कि शाहरुख के बरेली में होने की कोई जानकारी ही नहीं थी। एसएसपी शैलेश पांडेय बोले कि शाहरुख बरेली नहीं आया, उसके यहां आने की बात पूरी तरह गलत है।

बड़े मामलों के गुनहगारों का सुरक्षित ठिकाना बना बरेली

कुछ वर्षों से बरेली बड़े अपराधों में लिप्त आरोपितों की शरणस्थली बनता जा रहा है। पाकिस्तानी जासूस मुहम्मद एजाज से लेकर हिंदुत्ववादी नेता कमलेश तिवारी हत्याकांड के आरोपित और अब शाहरुख का यहां आकर शरण लेना साफ बता रहा है कि बरेली में खतरनाक ठिकाने हैं, जहां ऐसे लोगों को छिपा लिया जाता है। एसटीएफ ने पांच साल पहले जब पाक जासूस मुहम्मद एजाज को मेरठ से पकड़ने के बाद उसके बरेली के कई मुहल्लों में रहने का राजफाश किया था, लेकिन स्थानीय पुलिस को इसकी भनक नहीं थी।

ऐसे ही 18 अक्टूबर को लखनऊ में कमलेश तिवारी की हत्या के बाद दोनों आरोपित मोइनुद्दीन व अशफाक सीधे बरेली आए थे, दो दिन रहे। नया मामला शाहरुख का सामने आया है। दिल्ली हिंसा के दौरान कांस्टेबल दीपक दहिया पर रिवाल्वर तानने का फोटो वायरल होने के बाद शाहरुख भी वहां से भागकर बरेली में ही आकर छिपा।


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