सीबीआइ की जगह पुलिस जेल से ले गई निलंबित जेई रामभवन को
जागरण संवाददाता बांदा मंडल कारागार में बंद आरोपित निलंबित अवर अभियंता रामभवन को जेल से
जागरण संवाददाता, बांदा : मंडल कारागार में बंद आरोपित निलंबित अवर अभियंता रामभवन को जेल से सीबीआइ की जगह पुलिस की टीम लेकर गई। आरोपित को लेने शुक्रवार दोपहर करीब साढ़े तीन बजे महकमे की बिना पुलिस लिखी गाड़ी से एक इंस्पेक्टर, एक दारोगा व चार सिपाही जेल पहुंचे। करीब बीस मिनट बाद आरोपित को लेकर बाहर निकले और गाड़ी में बैठाकर सबसे पहले पुलिस लाइन ले गए। वहां से दूसरी गाड़ी पर लेकर रवाना हुए। बताया जाता है कि रास्ते में कहीं आरोपित जेई को सीबीआइ टीम को सौंपा गया।
सीबीआइ ने आरोपित निलंबित जेई रामभवन की मानसिक, शारीरिक और वॉयस जांच दिल्ली के अखिल भारतीय आयुर्विज्ञान संस्थान (एम्स) में कराने के लिए कोर्ट में तीन अर्जियां दाखिल की थीं। बुधवार को अदालत ने सात दिनों की रिमांड पर सौंपे जाने का आदेश दिया था। रिमांड अवधि गुरुवार से लेकर 13 जनवरी की शाम तक है। सीबीआइ डिप्टी एसपी अमित कुमार गुरुवार को जेल पहुंचे थे और कोर्ट के आदेश की कॉपी रिसीव कराकर लौट गए थे। आरोपित जेई को सीबीआइ ने अपनी अभिरक्षा में नहीं लिया था।
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मीडिया से भी बनाई दूरी
शुक्रवार को सीबीआइ के बजाए पुलिस लाइन से टीम पहुंची और शाम करीब चार बजे आरोपित को जेल से लेकर बाहर निकली। इस दौरान सीबीआइ का कोई सदस्य मौजूद नहीं रहा। पुलिस इंस्पेक्टर की अगुवाई में टीम सबसे पहले पुलिस लाइन लेकर पहुंची। मौके पर पहुंचे एक मीडिया कर्मी को फुटेज बनाते देख एक सिपाही ने कैमरा छीन लिया और फुटेज डिलीट कर दिए। वहां से आरोपित रामभवन को लेकर टीम गाड़ी से चली गई। कयास है कि रास्ते में कहीं सीबीआइ टीम ने आरोपित को अपनी अभिरक्षा में लिया है। प्रभारी जेलर पीके त्रिपाठी ने बताया कि शाम को एक पुलिस इंस्पेक्टर आए थे और आरोपित जेई रामभवन को लेकर चले गए।
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यह है मामला
उल्लेखनीय है कि चित्रकूट के कर्वी में सिचाई विभाग में तैनात निलंबित अवर अभियंता रामभवन को 50 से अधिक बच्चों का यौनशोषण करके अश्लील वीडियो व फोटो बेचने के आरोप में सीबीआइ ने 16 नवंबर को बांदा से गिरफ्तार किया था। साक्ष्यों के आधार पर उसकी पत्नी दुर्गावती को भी 28 दिसंबर को गिरफ्तार करके जेल भेजा जा चुका है। दोनों वर्तमान में बांदा जेल में बंद हैं।