नई उन्नतिशील प्रजाति से जिले में बढ़ेगी सरसों की पैदावार
जागरण संवाददाता बांदा नई उन्नतिशील प्रजाति एनआरसीएचबी-101 से जिले में सरसों की पैदावर दोग
जागरण संवाददाता, बांदा : नई उन्नतिशील प्रजाति एनआरसीएचबी-101 से जिले में सरसों की पैदावर दोगुनी होगी। कृषि विश्वविद्यालय इसकी तैयारी कर रहा है। सोमवार को यहां चयनित 50 किसानों को प्रशिक्षण दिया गया। उन्हें सरसों बीज की किट वितरित की गई। ये किसान प्रथम पंक्ति प्रदर्शन के लिए एक-एक एकड़ में इस वर्ष सरसों की नई फसल तैयार करेंगे।
कृषि एवं प्रौद्योगिक विश्वविद्यालय ने भारतीय सरसों अनुसंधान निदेशालय, सेवर भरतपुर, राजस्थान से वित्त पोषित योजना के तहत प्रथम पक्ति प्रदर्शन कर रहा है। इसके तहत चयनित कृषकों के प्रक्षेत्रों पर प्रदर्शन के लिए सरसों से उन्नतिशील प्रजाति फसलें बोई जाएंगी। इस परियोजना में जिले के कई ग्रामों के 50 कृषकों को शामिल किया गया है। मंगलवार को उन्हें कृषि विश्वविद्यालय में प्रशिक्षित किया गया। सरसों की प्रजाति एनआरसीएचबी-101 का डेढ़-डेढ़ किलो बीज वितरित किया गया।
बीज के साथ दी खाद व दवा
यह एक एकड में तैयार होगी। बीज के साथ सल्फर उर्वरक तथा फसल सुरक्षा को दो रोगनाशी भी वितरित की। इस प्रदर्शन का मुख्य उद्देश्य कृषकों को सरसों फसल की आधुनिक एवं उन्नतशील तकनीकियों को कृषक प्रक्षेत्र तक पहुंचाना है, जिससे सरसों की अधिक से अधिक पैदावार हो सके। कुलपति डॉ.यूएस गौतम ने कहा कि किसानों को तकनीकी व प्रबंधन के बारे में ससमय जानकारी दी जा रही है।