नेपाली शराब की तस्करी तेज, काबू पाना मुश्किल
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बलरामपुर : भारत-नेपाल सीमा से सटे गांवों में नेपाली शराब की बिक्री हो रही है। जिस पर एसएसबी, पुलिस व आबकारी महकमा अंकुश नहीं लगा पा रहा है। तस्कर जंगली रास्तों से होते हुए सीमा में दाखिल हो रहे हैं। जिसकी अधिकारियों को कानों कान खबर नहीं हो पाती है। बाराबंकी में जहरीली शराब पीने से हुई मौत के बाद कुछ दिनों तक आबकारी व पुलिस महकमा सक्रिय रहा। इसके बाद अभियान चलाना भूल गया। जिससे तस्करों पर अंकुश नहीं लगाया जा सका।
यहां पहुंच रही नेपाली शराब की खेप : पचपेड़वा, गैंसड़ी, तुलसीपुर, हरैया व बलरामपुर सदर में नेपाली शराब की खेप पहुंच रही है। नगर कोतवाली पुलिस ने झारखंडी रेलवे स्टेशन के पास से 140 शीशी नेपाली शराब बरामद कर चुकी है। यही नहीं, हरियाणा की शराब भी जिले में पहुंच रही है। जिसे पुलिस ने तीन माह पूर्व ट्रक से बरामद किया था। 14 नेपाली तस्करों के खिलाफ आबकारी महकमा मुकदमा भी दर्ज करवा चुका है।
नहीं पूरा कर सके लक्ष्य : आबकारी महकमे को 16 लाख रुपये का लक्ष्य दिया गया था। सात लाख 68 हजार रुपये ही जुर्माना लगा सका। इसके सापेक्ष तीन लाख 25 हजार रुपये ही वसूले जा सके। अंग्रेजी व देशी शराब में मिलावट का खेल जारी है। जिस पर आबकारी महकमा अंकुश नहीं लगा पा रहा है।
जिम्मेदार के बोल : पांच दुकानों को ओवररेटिग में शराब बेचने पर 75-75 हजार रुपये जुर्माना वसूला गया। मिलावट करने के मामले में दो दुकानें निलंबित की जा चुकी है। नेपाली तस्करों पर अंकुश लगाने के लिए छापेमारी अभियान नियमित चलाया जा रहा है। 14 नेपाली तस्करों के खिलाफ मुकदमा दर्ज किया जा चुका है। -राजेश त्रिपाठी, जिला आबकारी अधिकारी