गंगा व सरयू में घटाव जारी, कटान का संकट
जागरण संवाददाता बलिया जनपद में गंगा और सरयू नदी के जलस्तर में धीमी गति से लगातार घटाव ज
जागरण संवाददाता, बलिया : जनपद में गंगा और सरयू नदी के जलस्तर में धीमी गति से लगातार घटाव जारी है लेकिन कटान का खतरा अभी नहीं टला है। नदियों में पानी कम होने के बाद सिकंदपुर व बैरिया तहसील के किसानों की उपजाऊ भूमि नदी में समाहित हो रही है। कटान से ज्यादा प्रभावित सरयू नदी का तटवर्ती इलाका है। किसानों का कहना है कि सिचाई विभाग किसानों की भूमि बचाने के उद्देश्य से कहीं भी सुरक्षात्मक कार्य नहीं करता। किसानों की जमीन निगलने के बाद जब नदी गांव का अस्तित्व मिटाने को आतुर होती है, तब विभाग की ओर से बचाव कार्य शुरू होता है। हर साल बाढ़ की तबाही झेलने वाले गांवों के लोग बताते हैं कि अगस्त से सितंबर तक बाढ़ का खतरा ज्यादा रहता है। कभी-कभी तो अक्टूबर में दशहरा के दौरान भी नदियां उफान पर हो जातीं हैं। नदियों में घटाव देख तटवर्ती लोगों को निश्चित होना खतरे से खाली नहीं है। बहुत से स्थानों पर कटानरोधी कार्य अधूरे पड़े है। सभी स्थानों पर 15 जून तक ही कार्य पूरा करना था, लेकिन ठीकेदारों की लापरवाही से कार्य अधूरे रह गए हैं। ऐसे में तटवर्ती इलाके के लोग बाढ़ को लेकर हर तरह से सचेत हैं।
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गंगा का जलस्तर गुरुवार को सुबह आठ बजे 53.530 मीटर दर्ज किया गया। एक दिन पहले शाम चार बजे जलस्तर 53.630 था। यहां खतरा निशान 57.615 है। डीएसपी हेड तूर्तीपार में सरयू नदी का जलस्तर 64.080 मीटर दर्ज किया गया। यहां एक दिन पहले नदी का जलस्तर 64.200 मीटर था। यहां खतरा निशान 64.01 मीटर है। सरयू यहां अभी भी खतरा निशान से ऊपर बह रहीं हैं। चांदपुर में सरयू का जलस्तर 57.960 मीटर दर्ज किया गया। यहां खतरा निशान 58.00 है। अब सरयू का जलस्तर खतरा निशान से नीचे जाने लगा है।
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