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26.95 फीसद किसानों का नहीं हुआ भुगतान, अन्नदाता परेशान

हाल धान केंद्रों का फोटो-32 व 33 -एग्रो के धान क्रय केंद्रों पर भुगतान की सबसे अधिक समस्या

By JagranEdited By: Published: Fri, 01 Jan 2021 06:45 PM (IST)Updated: Fri, 01 Jan 2021 06:45 PM (IST)
26.95 फीसद किसानों का नहीं हुआ भुगतान, अन्नदाता परेशान
26.95 फीसद किसानों का नहीं हुआ भुगतान, अन्नदाता परेशान

हाल धान केंद्रों का फोटो-32 व 33 -एग्रो के धान क्रय केंद्रों पर भुगतान की सबसे अधिक समस्या

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-कमिश्नर के दौरे के बाद आई तेजी, 52 प्रतिशत हुई खरीद

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धान क्रय केंद्र-74

धान क्रय का लक्ष्य-1.10 लाख टन

किसानों से धान क्रय-10186 टन

धान खरीद प्रतिशत-52 प्रतिशत

किसानों का कुल देय-10685.94 लाख किसानों का कुल भुगतान-7806.06 लाख

किसानों का अवशेष -2879.89 लाख

भुगतान प्रतिशत 73.05

अवशेष प्रतिशत 26.95

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जागरण संवाददाता, बलिया : अधिकारियों के लाख प्रयास के बाद भी धान क्रय केंद्रों पर खरीद व भुगतान की समस्या दूर नहीं हो पा रही है। जिले में अब तक लक्ष्य के सापेक्ष 52 प्रतिशत ही धान की खरीद हो चुकी है। वैसे 73 प्रतिशत किसानों को भुगतान हो चुका है। अभी भी 26.95 प्रतिशत किसानों का शेष है। भुगतान नहीं होने के कारण किसान पूरी तरह से परेशान है। अन्नदाताओं का कहना है कि खरीद में लापरवाही का परिणाम रहा कि पिछले एक पखवारे में मात्र 280 एमटी धान की खरीद हो पाई है।

नगरा: मंडलायुक्त आजमगढ़ विजय विश्वास पंत द्वारा पिछले दिनों धान क्रय केंद्रों का निरीक्षण किए जाने के बाद कमोवेश हर केंद्रों पर भुगतान में तेजी आई है। भुगतान के मामले में सबसे खराब स्थिति यूपी एग्रो क्रय केंद्र की है। प्रभारी रमाकांत ने बताया कि अब तक 94 किसानों का 5448 क्विंटल धान खरीदा जा चुका है। इसमें 30 किसानों का भुगतान हो चुका है। विभाग के पास पैसा नहीं है इस लिए भुगतान में बिलंब हो रहा है। विपणन विभाग के क्रय केंद्र पर सबसे अधिक 425 किसानों का 26 हजार क्विंटल धान की खरीद की जा चुकी है। इसमें 25 दिसंबर तक का भुगतान हो चुका है। यूपी एग्रो व विपणन केंद्र पर पहली जनवरी को खरीद का कार्य बंद रहा। फार्मर प्रोड्यूसर कंपनी नरहीं के प्रभारी सतीसचंद सिंह ने बताया कि यहां पर 170 किसानों का धान खरीदा जा चुका है। जिसमें 135 किसानों का भुगतान हो चुका है। पांडेयपुर निवासी कृषक धनंजय पांडेय ने बताया कि समय से भुगतान होने से गेहूं की बोआई हो सकी। जूडनपुर की किसान नीतू ने बताया कि भुगतान में बिलंब होने से खेती का कार्य पिछड़ रहा है। गेहूं के सिचाई का कार्य चल रहा है। इसमें पैसे की जरूरत है। बछईपुर निवासी किसान भूपकिशोर सिंह ने बताया कि धान बेचे कई दिन बीत गए हैं। अभी तक भुगतान नहीं हो सका है। रुपवार के विजयबहादुर सिंह भी भुगतान के लिए क्रय केंद्र का चक्कर काटते दिखे। इसी गांव के किसान त्रिवेणी सिंह का भुगतान नहीं हो पाया है। रेंकुआं की प्रतिभा सिंह ने बताया कि भुगतान न होने से उनके समक्ष आर्थिक परेशानी उत्पन्न हो गई हैं। इन्हीं किसानों में रघुनाथपुर के छविलास सिंह का कहना था कि क्रय केंद्र पर पांच दिन से गेहूं लाकर खरीद का इंतजार कर रहें हैं। निकासी के राम प्रताप सिंह की धान लदी ट्रैक्टर ट्राली 29 दिसंबर से खड़ी है अभी तक तौल नहीं हो सकी है। विपणन निरीक्षक दानिश खान का कहना है किसानों के भुगतान का प्रयास किया जा रहा है। जिन किसानों की ट्रैक्टर ट्रालियां खड़ी हैं उनकी तौल शीघ्र होगी।

यूं तो सरकार किसानों की आय दोगुना करने का दावा कर रही है और इसके किए हर संभव प्रयास भी किया जा रहा है। लेकिन इसका लाभ अन्नदाताओं को नहीं मिल पा रहा है। नतीजतन बिचौलियों ने इसका भरपूर लाभ उठाया और इसके असली हकदार मुंह ताकते रह गए। पंदह ब्लाक क्षेत्र के हरिपुर निवासी किसान विश्राम ने बताया कि करीब 125 क्विंटल धान को बेचने के लिए कई बार क्रय केंद्रों का चक्कर लगाया लेकिन प्रभारी कोई न कोई बहाना बनाकर टालते रहे। अंतत: थक हार कर मुझे अपनी पैदावार औने पौने दामों में बेचना पड़ा।


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