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बिजली विभाग को लाखों का चूना लगा रहे ई-रिक्शा

पांच लाख 40 हजार यूनिट एक माह में ई-रिक्शा चार्जिंग पर हो रही खपत 15 हजार से अधिक ई-रिक्शा जिले की सड़कों पर दौड़ रहे 4580 ई-रिक्शा एआरटीओ कार्यालय में रजिस्टर्ड

By JagranEdited By: Published: Sat, 02 Jul 2022 10:18 PM (IST)Updated: Sat, 02 Jul 2022 10:18 PM (IST)
बिजली विभाग को लाखों का चूना लगा रहे ई-रिक्शा
बिजली विभाग को लाखों का चूना लगा रहे ई-रिक्शा

बहराइच : सड़कों पर दौड़ रहे 15 हजार से अधिक ई-रिक्शा की चार्जिंग प्वाइंट कहीं नहीं है। इसके चलते घरेलू या फिर कटिया कनेक्शन से इसे चार्ज किया जा रहा है। कई स्थानों पर गोदाम किराए पर लेकर अनाधिकृत तरीके से चार्ज करने का व्यापार हो रहा है। ई-रिक्शा वालों ने सड़क पर तो कब्जा कर ही लिया है, बिजली विभाग को भी लाखों रुपये का चूना लगा रहे हैं।

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सड़कों पर चलने वाले हजारों ई-रिक्शा की बैट्री चार्ज के लिए चालकों ने कोई कामर्शियल कनेक्शन नहीं लिया है। जिले में ज्यादातर लोग कटिया या घरेलू कनेक्शन पर ई-रिक्शा को चार्ज करते हैं। ई-रिक्शा चलाने वाले दिन में दो बार इसे चार्ज करते हैं। शहर के बाहरी हिस्सों में बसी कालोनियों में लगे मीटर से पहले कटिया लगाकर चार्ज करते हैं।

नए माडल के ई-रिक्शा एक बार चार्ज होने में 10 से 12 यूनिट बिजली की खपत करते हैं, जबकि पुराने माडल के ई-रिक्शा इससे अधिक यूनिट की खपत करते हैं। अगर 12 यूनिट प्रति ई-रिक्शा के हिसाब से बिजली की खपत मानी जाए तो एक दिन में एक लाख 80 हजार यूनिट खर्च होती है। पूरे माह में तकरीबन पांच लाख 40 हजार यूनिट ई-रिक्शा चार्जिंग पर खपत हो रही है। कटिया या फिर घरेलू कनेक्शन पर ही चार्ज होने से पावर कारपोरेशन को तगड़ा चूना लग रहा है।

कोट

इस पूरे प्रकरण की जांच कराई जाएगी। अगर घरेलू कनेक्शन पर ई-रिक्शा चार्ज किया जा रहा है तो ऐसे लोगों को चिह्नित कर कार्रवाई की जाएगी। जो लोग गोदाम लेकर अनाधिकृत तरीके से चार्जिंग का व्यापार कर रहे हैं। उनके खिलाफ भी कार्रवाई की रणनीति बनाई गई है।

- मुकेश बाबू, अधीक्षण अभियंता


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