अधिकारियों को देना होगा अपनी शादी के दहेज का ब्योरा
शादी में दहेज नहीं लेने का सर्टिफिकेट मांगने से अधिकारियों और कर्मियों में खलबली है। प्रदेश के महिला कल्याण निदेशक मनोज कुमार राय ने बागपत की जिला प्रोबेशन अधिकारी को सभी सरकारी सेवकों से दहेज नहीं लेने के घोषणा पत्र भरवाकर 18 अक्टूबर तक उपलब्ध कराने का आदेश दिया है।
बागपत, जेएनएन। शादी में दहेज नहीं लेने का सर्टिफिकेट मांगने से अधिकारियों और कर्मियों में खलबली है। प्रदेश के महिला कल्याण निदेशक मनोज कुमार राय ने बागपत की जिला प्रोबेशन अधिकारी को सभी सरकारी सेवकों से दहेज नहीं लेने के घोषणा पत्र भरवाकर 18 अक्टूबर तक उपलब्ध कराने का आदेश दिया है।
जिनकी नियुक्ति 31 अप्रैल 2004 के बाद हुई उन सभी सरकारी कर्मियों व अधिकारियों को अपना नाम व पदनाम, नियुक्ति की तिथि, विभाग का नाम समेत पूरा ब्योरा घोषणा पत्र में भरकर घोषणा देना होगा कि उन्होंने अपने विवाह के समय तथा विवाह पश्चात कोई दहेज नहीं लिया है।
यदि किसी कर्मचारी-अधिकारी के खिलाफ दहेज वाद दर्ज है तो उन्हें इसका भी पूरा ब्योरा देना होगा। जैसे विवाह होने की तिथि, वैवाहिक स्थिति, मोबाइल नंबर तथा विभाग में उनकी नियुक्ति किस प्रकार की है यानी वह स्थायी या संविदा या ठेका कर्मी है। यह ब्योरा जिला प्रोबेशन अधिकारी को उपलब्ध करना होगा।
वहीं जब से महिला कल्याण विभाग ने दहेज का ब्योरा मांगा है, तब से कई अधिकारियों-कर्मियों की नींद उड़ी है। पत्नी से मनमुटाव के चलते कई कर्मियों व शिक्षकों की चिता बढ़ गई है। एक शिक्षक ने आफ द रिकार्ड कहा कि उनका पत्नी से विवाद है। दोनों की राह किसी भी वक्त जुदा हो सकती हैं। ऐसे में अगर वह घोषणा पत्र भरकर देते हैं कि उन्होंने दहेज नहीं लिया तो पत्नी और उसके मायके वाले पता चलने पर विभाग में जाकर असलियत सामने रख देंगे, जिससे उनकी नौकरी खतरे में पड़ सकती है।
इन्होंने कहा..
-उत्तर प्रदेश दहेज प्रतिषेध नियमावली 2004 के प्राविधान के तहत घोषणा पत्र पर कर्मियों से दहेज का ब्योरा मांगा गया है।
-तूलिका शर्मा, जिला प्रोबेशन अधिकारी