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100 सजायाफ्ता कैदी फतेहगढ़ जेल ट्रांसफर

जेल लगातार ओवरलोड हो रही है। इसकी वजह से सौ कैदी फतेहगढ़ भेज दिए गए।

By JagranEdited By: Published: Fri, 19 Jul 2019 11:46 PM (IST)Updated: Sat, 20 Jul 2019 06:22 AM (IST)
100 सजायाफ्ता कैदी फतेहगढ़ जेल ट्रांसफर
100 सजायाफ्ता कैदी फतेहगढ़ जेल ट्रांसफर

- जेल लगातार हो रही थी ओवरलोड, इसलिए शासन को दी थी सूचना

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- सभी को मिल चुकी है सजा, कोई अन्य मुकदमा भी विचाराधीन नहीं 529 बंदी/कैदियों को जेल में रखने की क्षमता जागरण संवाददाता, बदायूं : जिला कारागार में निरुद्ध रहे 100 सजायाफ्ता कैदी फतेहगढ़ जेल ट्रांसफर किए गए हैं। जेल में बढ़ रही ओवरलोडिग की रिपोर्ट के आधार पर शासन ने यह फैसला लिया है। आमतौर पर इन कैदियों को बरेली सेंट्रल जेल भेजा जाता है लेकिन शासन ने फिलहाल सभी को फतेहगढ़ शिफ्ट करने का आदेश दिया। कैदियों को वहां रवाना कर दिया गया।

जिला जेल में 529 बंदियों व कैदियों को रखने की क्षमता है। जबकि पिछले दिनों इनकी संख्या बढ़कर दो हजार से अधिक हो गई थी। इधर, चुनाव में चलाए गए पुलिस के वांछित-वारंटी गिरफ्तारी अभियान में रोजाना पांच से 10 बंदी और भेजे जा रहे थे। ऐसे में बैरकों में बंदी भूसे की तरह भरने लगे। जेल प्रशासन ने इसकी शासन को रिपोर्ट भेजते हुए बताया कि ओवरलोडिग लगातार बढ़ रही है। जबकि संसाधन सीमित हैं। इस पर शासन ने ऐसे कैदियों की सूची मांगी जिन्हें सजा मिल चुकी है और उन पर कोई अन्य मुकदमा विचाराधीन नहीं है। फिर खंगाला गया रिकार्ड

जेल प्रशासन ने ऐसे सिद्धदोष कैदियों का रिकार्ड खंगाला, जिन्हें अब किसी भी मामले में अदालत में पेश नहीं किया जाना है और वह केवल सजा के पात्र हैं। ऐसे सौ बंदियों के नाम जेल प्रशासन ने शासन को भेजे। यह भी बताया कि इनमें अधिकांश काफी शातिर किस्म के हैं और यही योजना बनाते रहते हैं कि किसी भी तरह यहां से भागने को मिल जाए। इस पर शासन ने इन सौ बंदियों को फतेहगढ़ जेल भेजने का आदेश दिया। सम्भल के बंदी कर रहे गड़बड़ी

भले ही सम्भल नया जिला बन गया लेकिन अभी भी वहां के थाना रजपुरा, गुन्नौर और धनारी के बंदी बदायूं जेल में ही निरुद्ध हैं। यह तीनों थाने पहले बदायूं की सीमा में थे। गुन्नौर सर्किल अपराध के लिए काफी कुख्यात माना जाता था। अभी भी हालात यह हैं कि वहां के बंदी अगर चले जाएं तो जेल प्रशासन की आधी टेंशन कम हो जाएगी। क्योंकि अधिकांश बंदी वही के निरुद्ध हैं। वर्जन ::

सौ सिद्धदोष कैदियों की सूची भेजी गई थी। इन पर कोई अन्य मुकदमा विचाराधीन नहीं है, जो मुकदमे थे, उनमें सजा सुनाई जा चुकी है। इसी आधार पर शासन की अनुमति पर सभी को फतेहगढ़ भेजा गया है।

- आदित्य कुमार, प्रभारी जेल अधीक्षक


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