धूप भी नहीं दे सकी ठंड से राहत
-मौसम - सेहत पर पड़ रहा प्रभाव सर्दी-जुकाम बुखार से ग्रसित हो रहे लोग -पछुआ हवा व कोह
-मौसम
- सेहत पर पड़ रहा प्रभाव, सर्दी-जुकाम, बुखार से ग्रसित हो रहे लोग
-पछुआ हवा व कोहरा के कारण राह चलना हुआ मुश्किल
-तापमान में गिरावट से बढ़ गई समस्या, अलाव बना सहारा जागरण संवाददाता, आजमगढ़ : मकर संक्रांति के बाद से मौसम बिगड़ा तो मंगलवार तक सामान्य नहीं हो सका। दोपहर बाद हल्की धूप तो निकली, लेकिन उसमें गर्मी नहीं थी। पछुआ हवा के कारण लोग कांपते रहे और राहत के लिए अलाव सहारा बना। सबसे ज्यादा परेशानी उन लोगों को हुई जो किराए के मकानों में रहते हैं। उन्हें तो कमरे में अलाव जलाने की भी इजाजत नहीं थी। स्टोर पानी छूने की हिम्मत नहीं पड़ रही थी। वहीं दिहाड़ी मजदूरी अथवा रेस्टोरेंट में काम करने वालों को पानी से दूर भागना नामुमकिन था। गृहणियों के साथ भी कुछ इसी तरह की समस्या रही।
गलन इस कदर कि जहां कहीं अलाव दिख रहा था वहां लोगों के कदम ठहर जा रहे हैं। सरकारी अलाव की पर्याप्त व्यवस्था न होने से लोग अपने स्तर से लकड़ी की व्यवस्था कर रहे हैं।सुबह व दिन ढलने के बाद कोहरा के कारण शहर से बाहर की यात्रा मुसीबत बन रही है। अधिकतम तापमान 18 और न्यूनतम 08 डिग्री सेल्सियस रहा। छह से 11 किलोमीटर प्रति घंटे की रफ्तार से चली पछुआ हवा ने भी लोगों को परेशान किया। मौसम की बेरुखी का अंदाजा इसी से लगाया जा सकता है कि जहां कहीं अलाव जल रहा है वहां इंसानों के साथ बेजुबान भी पहुंच जा रहे हैं। दूध और अखबार का वितरण करने वाले भी ठंड के कारण समय से नहीं पहुंच पा रहे हैं।