चरागाह की भूमि जल्द होगी अतिक्रमण मुक्त
डीएम के आदेश पर तहसील प्रशासन ने कार्रवाई शुरू की। उत्तर प्रदेश गोसेवा आयोग ने जिलाधिकारी को पत्र लिखा था।
अमेठी : तहसील क्षेत्र की चरागाह भूमि शीघ्र ही अतिक्रमण मुक्त होगी। डीएम के निर्देश पर तहसील प्रशासन ने कार्रवाई शुरू कर दी है।
उत्तर प्रदेश गोसेवा आयोग ने जिलाधिकारी को पत्र लिखकर चरागाह की भूमि को अतिक्रमण मुक्त कराए जाने की मांग की थी, जिस पर एसडीएम योगेंद्र सिंह ने कार्रवाई शुरू कर दी है। एसडीएम ने बताया कि पहले ही ग्राम पंचायत की सुरक्षित भूमि पर अतिक्रमण न हो। इसके लिए अभियान चलाया जा रहा है। जहां, भी भूमि पर कब्जेदारी की शिकायत आती है। लेखपाल की जिम्मेदारी तय कर जवाब तलब किया जाता है। कब्जा पाए जाने पर अतिक्रमण हटाकर कार्रवाई भी की जाती है। चरागाह की भूमि को चिह्नित करने की कार्रवाई के लिए राजस्व निरीक्षक को निर्देश दिया गया है। सभी राजस्व निरीक्षक एक सप्ताह के भीतर भूमि चिह्नित कर अवैध कब्जे को हटवाकर ग्राम पंचायत को भूमि सुपुर्द करेंगे।
चरागाह को करना है विकसित :
प्रदेश की सरकार बेसहारा निराश्रित गोवंश के संरक्षण एवं संरक्षण के लिए स्थायी व अस्थायी गोवंश आश्रय स्थल वृहद गो संरक्षण केंद्र स्थापित किए हैं। गो आश्रय स्थल में संरक्षित गोवंश के चरने के लिए चरागाह को विकसित करना है। गो सेवा आयोग का मानना है कि चरागाह की भूमि पर बड़े पैमाने पर गांव-गांव स्तर पर अवैध कब्जा है। इन कब्जों हटाकर चारा उत्पादन भूमि संरक्षित कर उसे विकसित कराना है, जिससे किसानों और आम लोगों के मवेशी के लिए चरागाह उपलब्ध होगा।
लेखपालों ने शुरू की कार्रवाई :
तहसीलदार दिग्विजय सिंह ने बताया कि एक सप्ताह में अभियान चलाकर चरागाह की भूमि मुक्त कराने का निर्देश दिया गया है। लेखपाल अपने गांव में अभिलेख के मुताबिक भूमि चिह्नित करने की कार्रवाई कर रहे हैं।