Move to Jagran APP

दिसंबर में आ जाएगा नहर में पानी

अमेठी सिल्ट सफाई के चलते इन दिनों नहरों में पानी नही आ रहा है। इससे रबी की बुवाई के लिए तैयार बैठे किसान परेशान हैं। वहीं महकमा दिसंबर के पहले सप्ताह में नहरों में पानी छोड़े जाने की बात कह रहा है।

By JagranEdited By: Published: Mon, 23 Nov 2020 11:15 PM (IST)Updated: Mon, 23 Nov 2020 11:15 PM (IST)
दिसंबर में आ जाएगा नहर में पानी
दिसंबर में आ जाएगा नहर में पानी

अमेठी : सिल्ट सफाई के चलते इन दिनों नहरों में पानी नही आ रहा है। इससे रबी की बुवाई के लिए तैयार बैठे किसान परेशान हैं। वहीं महकमा दिसंबर के पहले सप्ताह में नहरों में पानी छोड़े जाने की बात कह रहा है।

loksabha election banner

नहरों में पानी न आने से क्षेत्र के किसान परेशान हैं। जहां एक ओर गेहूं की फसल की बुआई का समय चल रहा है। वहीं किसान बुआई के लिए नहरों में पानी आने का इंतजार कर रहे है। खेतों की छपाई न हो पाने से गेहूं की बुआई लेट हो रही है। रबी की फसली वर्ष 2020-21 के लिए चल रही रजबहा और माइनरों की सिल्ट सफाई का कार्य इस बार पिछले वर्ष की अपेक्षा कुछ देरी से शुरू हो सका है। ठेकेदारों की मनमानी के चलते सिल्ट सफाई का काम काफी धीमी गति से चल रहा है। जिसके चलते नहरों में अभी पानी आने की उम्मीद भी नहीं दिख रही है। लेट बुआई होने से गेहूं की पैदावार में भी कमी आएगी।

ये नहरें हैं सूखी

राजापुर, इन्हौना रजबहा के साथ ही टिकरी, मेहमानपुर, पेडरिया, फत्तेपुर, रस्तामऊ, सिंहपुर, पंहौना माइनर सहित क्षेत्र की लगभग सभी नहरें पानी न छोड़े जाने के कारण सूखी पड़ी है।

किसानों की सुनिए

किसान विजय शंकर का कहना है कि किसानों की हालत पहले ही बद से बदतर है। अन्नदाता बुआई के लिए नहरों व रजबहों में पानी का इंतजार कर रहा है। श्रवण कुमार त्रिवेदी कहते हैं कि प्रशासन किसानों की समस्या से अनजान बना हुआ है। नहरों में पानी न आने से गेहूं की बुआई प्रभावित होगी। कमलेश अग्निहोत्री कहते हैं कि किसानों की जरूरत को दरकिनार कर रबी की बुआई के समय सिल्ट सफाई शुरू कर दी गयी। वर्जन

नहर में सिल्ट सफाई का कार्य एक दिसम्बर तक पूर्ण हो जाएगा। इसके पश्चात नहरों में पानी छोड़ा जाएगा।

धर्मेंद्र कुमार, अवर अभियंता, खंड हैदरगढ़


Jagran.com अब whatsapp चैनल पर भी उपलब्ध है। आज ही फॉलो करें और पाएं महत्वपूर्ण खबरेंWhatsApp चैनल से जुड़ें
This website uses cookies or similar technologies to enhance your browsing experience and provide personalized recommendations. By continuing to use our website, you agree to our Privacy Policy and Cookie Policy.