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अतुल व अमृतांशु ने बढ़ाया अमेठी का सम्मान

आरजीआइपीटी के प्राध्यापक दुनिया के शीर्ष दो प्रतिशत वैज्ञानिकों की सूची में शामिल हुए।

By JagranEdited By: Published: Mon, 30 Nov 2020 12:00 AM (IST)Updated: Mon, 30 Nov 2020 12:00 AM (IST)
अतुल व अमृतांशु ने बढ़ाया अमेठी का सम्मान
अतुल व अमृतांशु ने बढ़ाया अमेठी का सम्मान

अमेठी : राजीव गांधी पेट्रोलियम प्रौद्योगिकी संस्थान (आरजीआइपीटी) जायस के दो सह-आचार्यों डॉ. अतुल शर्मा एवं डॉ. अमृतांशु शुक्ला का नाम दुनिया के शीर्ष दो प्रतिशत वैज्ञानिकों की सूची में शामिल किया गया है। यह सूची स्टैनफोर्ड विश्वविद्यालय अमेरिका द्वारा विभिन्न विषयों में दुनिया के अग्रणी वैज्ञानिकों की रैंकिग करने के लिए प्रकाशित किया है। इस प्रतिवेदन में वैज्ञानिकों के इस सूची को 22 वैज्ञानिक क्षेत्रों और 176 उप-क्षेत्रों में वर्गीकृत किया गया है।

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संस्थान में डॉ. अतुल शर्मा अक्षय ऊर्जा विषय के सह-आचार्य हैं और पिछले दो दशक से ऊर्जा क्षेत्र में न्यून-ताप अनुप्रयोग और सौर्य तापीय ऊर्जा भंडारण प्रणाली के लिए फेज चेंज मैटीरियल के विकास के क्षेत्र में कार्य कर रहे हैं। डॉ. शर्मा के प्रतिष्ठित अंतरराष्ट्रीय पत्रिकाओं में सौर तापीय ऊर्जा भंडारण प्रणाली, पीसीएम के विकास और इमारतों, सौर तापीय एवं जैव चिकित्सा में उनके उपयोग विषय पर कई शोध पत्र प्रकाशित हो चुके हैं। डॉ. शर्मा के शोध कार्य का अंतरराष्ट्रीय पत्रिकाओं में सात हजार से अधिक बार उल्लेख किया जा चुका है।

डॉ. अमृतांशु शुक्ला भौतिकी के सह-आचार्य हैं और तापीय ऊर्जा भंडारण सामग्री का उपयोग करते हुए तापीय ऊर्जा भंडारण सामग्री, फोटोवोल्टेइक सामग्री के थर्मल विनियमन सहित सैद्धांतिक भौतिकी, परमाणु भौतिकी आदि क्षेत्रों में कार्य कर रहे हैं। उनका अध्ययन विशेष रूप से एकीकृत फोटोवोल्टेइक पैनलों के निर्माण और सौर ऊर्जा के प्रभावी उपयोग के माध्यम से ऊर्जा सक्षम भवनों के निर्माण के लिए महत्वपूर्ण है।

इनके अलावा, इस सूची में आचार्य गोपाल नाथ तिवारी, मानद आचार्य को भी शामिल किया गया है। संस्थान के निदेशक, आचार्य अखौरी सुधीर कुमार सिन्हा ने संकाय सदस्यों को प्रभाव आधारित संयुक्त सूची और एप्लाइड भौतिकी उपक्षेत्र में दुनिया के शीर्ष दो प्रतिशत श्रेष्ठ वैज्ञानिकों में शामिल किए जाने पर प्रसन्नता व्यक्त की और उन्हें बधाई देते हुए कहा कि यह उपलब्धि हमारे युवा आचार्यों को अनुसंधान और विकास कार्यों के लिए प्रेरित करेगी।

आनंद को मिला जगदीश चंद्र बसु विज्ञान पदक :

भारत सरकार तथा दुर्गा कला केंद्र की ओर से प्रति वर्ष देश के युवा वैज्ञानिकों का सम्मान किया जाता है। इस बार जगदीश चंद्र बसु विज्ञान पदक मुंशीगंज इंजीनियरिग कालेज के छात्र रह चुके आनंद पांडेय को दिया गया है।

सुलतानपुर जिले के कादीपुर पतारखास निवासी युवा वैज्ञानिक आनंद पांडेय को देशभर में नवाचार संस्कृति को प्रसारित करने के साथ इनोवेशन के प्रति उनकी समर्पण भावना के लिए भारत सरकार द्वारा जगदीश चंद्र बसु विज्ञान दल पदक सम्मान 2020 प्रदान किया गया। अभी तक इस युवा वैज्ञानिक के सात उत्पाद पेटेंट हो चुके हैं। मुंशीगंज से इलेक्ट्रॉनिक एंड कम्युनिकेशन से बीटेक कर चुके आनंद 2013 से पढ़ाई करने के बाद पीछे मुड़कर नही देखा। आनंद की सफलता पर कालेज के चैयरमैन और पूर्व मंत्री डॉ. संजय सिंह ने खुशी जताई।


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