कृषि मशीनरी सेंटर से समूह के साथ कृषक बने रहे समृद्ध
ग्राम स्तर पर गठित समूहों को 80 फीसद अनुदान पर कृषि यंत्र मिला रहा है। किसान इन समूहों से किराए पर उपकरण हासिल कर सकते हैं।
अंबेडकरनगर : कृषि विभाग ग्राम स्तर पर गठित समूहों के जरिए किसानों को समृद्ध बना रहा है। कस्टम हायर सेंटर योजना के तहत कृषक समूहों को 12 लाख रुपये की लागत से ट्रैक्टर, रोटावेटर, थ्रेसर आदि कृषि सहयोगी आधुनिक यंत्र मुहैया कराया जा रहा है। इन यंत्रों को किराए पर हासिल कर किसान अपनी खेती कर सकेंगे। इसका लाभ आर्थिक रूप से कमजोर किसानों को मिलेगा। अभी तक जिले में कुल 15 कृषि मशीनरी सेंटर संचालित किए जा रहे हैं। वर्तमान में लगभग 10 हजार किसानों को किराए पर कृषि यंत्र समूहों द्वारा मुहैया कराया जा रहा है।
ऐसे मिलता है लाभ : आर्थिक रूप से कमजोर परिवारों को शामिल कर स्वरोजगार समूह गठित किया जाता है। इन समूहों को कृषि मशीनरी सेंटर मानकर कृषि विभाग 80 फीसद अनुदान पर 12 लाख रुपये तक का कृषि यंत्र उपलब्ध कराता है। कृषि मशीनरी सेंटर से किराए पर यंत्र लेकर किसान उसका इस्तेमाल खेती के लिए कर सकता है। वहीं समूह के सदस्यों को सिर्फ डीजल पर ही यह सुविधा उपलब्ध है। किसान शिव प्रसाद वर्मा ने बताया कि समूहों के माध्यम से आसानी से ट्रैक्टर, रोटावेटर, थ्रेसर आदि कृषि यंत्र मिल जाते हैं और खेती का कार्य समय पर हो जाता है। विभाग की यह पहल सार्थक है, लोगों को इसका लाभ मिल रहा है। वहीं समूह संचालक मातृभूमि कृषि उद्योग के पदाधिकारी बताते हैं कि कृषि विभाग द्वारा कुल लागत पर 80 फीसद अनुदान मिलता है, इसके अतिरिक्त जो धनराशि बचती है, उसे समूह किस्तों में जमा करते रहते हैं।
प्रभारी उप कृषि निदेशक डॉ. राजमंगल चौधरी ने बताया कि किसानों की आय दोगुना करने के उद्देश्य से कृषि मशीनरी सेंटर की स्थापना की गई है। इस समय जिले में 15 सेंटर संचालित हो रहे हैं। हालांकि इस वर्ष पांच सेंटरों में इजाफा किया जा रहा है, जल्द ही प्रक्रिया पूरी होगी। वहीं किसानों के लिए अब एकल व्यवस्था भी कर दी गई है। अकेला किसान भी नियमों का पालन करते हुए 80 फीसद अनुदान पर कृषि यंत्र हासिल कर सकता है।