गृहस्वामी को लौटाने पड़ेंगे जमा शुल्क
तमसा नदी के प्रवाह क्षेत्र में पाबंदियों के बाद भी अवैध निर्माण में 921 भवनों को चिन्हित किया गया।
अंबेडकरनगर: तमसा नदी के प्रवाह क्षेत्र में पाबंदियों के बाद भी अवैध निर्माण में 921 भवनों को चिन्हित किया गया है। इन भवनों को बनाए जाने से पहले जमीन का बैनामा लिया गया है। आबाद इलाके में बैनामा करने के लिए रजिस्ट्री विभाग ने आवासीय शुल्क भी वसूला है। तहसील प्रशासन ने इसे आबादी दर्ज किया और नगरपालिका प्रशासन ने भी आवास निर्माण कराने के लिए नक्शा पास किया है। पक्का व स्थाई निर्माण कराने के लिए प्रतिबंधित स्थान पर सरकारी विभागों ने अवैध अनुमति दी है। ऐसे में इन पर कार्रवाई के अलावा भूमि स्वामियों को होने वाले नुकसान की भरपाई के लिए जवाबदेही तय की जानी चाहिए। सरकारी कार्रवाई अवैध होने की दशा में गृहस्वामियों को आवासीय बैनामे का वसूला गया अवैध शुल्क भी वापस करना पड़ सकता है।
वर्ष 2005 से 2021 के बीच में करीब चार बार सरकारी मशीनरी को सर्वोच्च न्यायालय और नेशनल ग्रीन ट्रिब्यूनल ने नोटिस जारी करते हुए आगाह किया था। पहली नोटिस पर सरकारी मशीनरी सचेत होती तो जनता को इतना बड़ा नुकसान नहीं झेलना पड़ता। फिलहाल भवन गिराने की तैयारी में लगे अधिकारी जनता के नुकसान की भरपाई को लेकर कुछ भी बोलने से इन्कार करते हैं। अभी तहसील प्रशासन, निकाय प्रशासन, सिचाई विभाग एवं बाढ़ खंड के लापरवाह तथा जिम्मेदारों पर जवाबदेही तय करने के साथ अवैध निर्माण ढहाने का जिम्मा निर्धारित किया जा रहा है।
निकाय भी लौटाएगी शुल्क : भवन का नक्शा पास करने के शुल्क से लेकर गृहकर आदि को भी नगरीय निकाय को लौटाना पड़ेगा। वजह, भवन निर्माण को अवैध घोषित किए जाने के बाद अवैध नक्शा पास करने तथा अवैध गृहकर आदि की वसूली निकाय ने की है। भवन ध्वस्त कराने पर गृहस्वामी को निकाय प्रशासन यह रकम लौटाएगी।
तमसा नदी किनारे अवैध निर्माण का आवासीय बैनामा शुल्क, गृहकर, नक्शा शुल्क आदि वापस किए जाने को लेकर अधिकारियों से चर्चा की जाएगी। नियमों का अवलोकन किए जाने के बाद ही कुछ कहा जा सकता है।
अशोक कुमार कनौजिया, एडीएम