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UP Zila Panchayat Chunav 2021: अब पर्दे के पीछे दांव लगा रहे जिला पंचायत के पुराने खिलाड़ी

UP Zila Panchayat Chunav 2021 फिलहाल संगठन ने उनके लिए आगे कुछ बेहतर करने के लिए आश्वासन की घुट्टी पिलाई है। यही वजह है कि अभी वह शांत हैं। उनके खेमे में हलचल नहीं हैं लेकिन बेचैनी है।

By Rajneesh MishraEdited By: Published: Thu, 24 Jun 2021 07:30 AM (IST)Updated: Thu, 24 Jun 2021 04:19 PM (IST)
UP Zila Panchayat Chunav 2021: अब पर्दे के पीछे दांव लगा रहे जिला पंचायत के पुराने खिलाड़ी
जिला पंचायत के दोनों पुराने खिलाड़ी अब पर्दे के पीछे हैं।

प्रयागराज,जेएनएन। जिला पंचायत की अध्यक्ष की कुर्सी के इर्द गिर्द अब तक सिर्फ दो नाम घूमा करते थे, केसरी देवी पटेल और रेखा सिंह। केसरी देवी छह बार तो रेखा सिंह पांच बार जिला पंचातय अध्यक्ष रहीं। इनके बीच लंबी रार भी चली। कभी कोर्ट में मामला पहुंचा तो कभी पार्टी को पंचायत करनी पड़ी। खास बात यह कि रेखा सिंह पहले सपा में होती थीं। बाद में उन्होंने भाजपा का दामन थाम लिया। इस बार उन्हें टिकट मिलना था लेकिन भाजपा ने नए प्रत्याशी डा. वीके सिंह पर दांव लगाया है। ऐसे में जिला पंचायत के दोनों पुराने खिलाड़ी अब पर्दे के पीछे हैं।

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जिला पंचायत के चुनाव की घोषणा होने के साथ ही केशरी देवी की तरफ से वाकओवर दे दिया गया था। इस बार उनके परिवार से किसी ने भी जिला पंचायत का चुनाव नहीं लड़ा लेकिन इस खेमे ने टिकट दिलाने से लेकर मतदान तक सक्रियता बनाए रखी। यह क्रम अब भी जारी है। उधर, रेखा सिंह मैदान में डटी रहीं। जिला पंचायत सदस्य पद पर जीत भी हासिल की लेकिन अध्यक्ष की कुर्सी के लिए उनकी उम्मीद को झटका लगा। लंबी दौड़ लगाने के बाद भी पार्टी की तरफ से उन्हेंं प्रत्याशी नहीं बनाया गया। फिलहाल संगठन ने उनके लिए आगे कुछ बेहतर करने के लिए आश्वासन की घुट्टी पिलाई है। यही वजह है कि अभी वह शांत हैं। उनके खेमे में हलचल नहीं हैं लेकिन बेचैनी है।

जातीय समीकरण का गणित

84 सदस्यों की जिला पंचायत में अध्यक्ष की कुर्सी के लिए कुल 43 सदस्यों का समर्थन चाहिए। भाजपा के पास अपने 14 सदस्य हैं। इसके अतिरिक्त छह ऐसे लोग भी जीत के आए हैं जिन्होंने चुनाव के ठीक पहले पार्टी से बगावत की थी। अब दोबारा पार्टी इन्हेंं साधने में लगी है। उधर, सपा समॢथत 26 सदस्य होने के दावे किए जा रहे हैं। शेष निर्दल हैं। जीत कर आने वालों में इस बार 22 सदस्य यादव बिरादरी के हैं जब कि 14 पटेल, 8 ब्राह्म्ण, 12 पासी, चार क्षत्रिय, पांच कोल, दो मुस्लिम हैं। एक-एक या दो-दो सदस्य अन्य जातियों के भी हैं। सूत्रों का कहना है कि सपा और भाजपा एन केन प्रकारेण समर्थन जुटाने मेंं लगी है। दिन रात बैठकों का दौर चल रहा है। सभी अपने अपने पक्ष में दावे कर रहे हैं। जातीय आधार पर समर्थन जुटाने की कोशिश के साथ तमाम तरह के लुभावने वायदे भी किए जा रहे हैं।


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