Murder Case Pratapgarh: शव की अंत्येष्टि से किया परिवार ने इंकार, विधायक रानीगंज के मनाने पर हुए राजी
पोस्टमार्टम के बाद अनुरुद्ध का शव घर लाया गया था। गुरुवार को परिवार के लोगों ने यह मांग उठाकर अंतिम संस्कार करने से मना कर दिया कि घरवालों की सुरक्षा का इंतजाम किया जाए साथ ही शस्त्र लाइसेंस भी दिया जाए। विधायक के समझाने पर अंत्येष्टि की गई
प्रयागराज, जेएनएन। पड़ोसी जिले प्रतापगढ़ में कोतवाली रानीगंज क्षेत्र के दहेरकला बिंदागंज गांव में गोली और बम मारकर अनुरुद्ध सिंह की हत्या का मामला अब तक सुर्खियों में बना है। पोस्टमार्टम के बाद अनुरुद्ध का शव घर लाया गया था। गुरुवार को परिवार के लोगों ने यह मांग उठाकर अंतिम संस्कार करने से मना कर दिया कि घरवालों की सुरक्षा का इंतजाम किया जाए साथ ही शस्त्र लाइसेंस भी दिया जाए। परिवार के लोग विधायक धीरज ओझा को बुलाने की मांग पर भी अड़े थे। आखिरकार विधायक ने आकर उन्हें मनाया तो शव की अंत्येष्टि की गई।
विधायक के आने का भी परिवार को इंतजार
दहेरकला बिंदागंज गांव के अनुरुद्ध सिंह की फायरिंग और बमबाजी से हत्या कर दी गई थी। उसका शव पोस्टमार्टम के बाद बुधवार को शाम साढ़े छह बजे घर लाया गया था। गुरुवार को सुबह परिवार के लोगों ने यह कहते हुए शव का अंतिम संस्कार के लिए मना कर दिया कि उन्हें अपनी हिफाजत के लिए शस्त्र लाइसेंस दिया जाए और सुरक्षा व्यवस्था भी की जाए। परिवार के लोगों का कहना है कि अब तक आरोपितों को गिरफ्तार नहीं किया जा सका है जो कि सरासर लापरवाही और पुलिस का उदासीनता है। घरवालों ने पुलिस के समझाने और मनाने के प्रयास पर कहा कि विधायक धीरज ओझा के आने के बाद ही वह अनुरुद्ध के शव का अंतिम संस्कार करेंगे। परिवार के लोगों को समझाने के लिए मौके पर सीओ अतुल अंजान त्रिपाठी और थाना प्रभारी पवन त्रिवेदी पुलिस और पीएसी के साथ पहुंच गए। मगर घरवालों ने साफ कह दिया कि मांग पूरी होने के बाद ही वह अंत्येष्टि करेंगे। वह विधायक का भी इंतजार करते रहे। दोपहर तक पुलिस अधिकारी परिवार को समझाने की कोशिश करते रहे। आखिरकार विधायक धीरज ओझा ने आकर परिवार के लोगों से बात की। घटना पर दुख जताया और कहा कि वह उन्हें शस्त्र लाइसेंस दिलाने का प्रयास करेंगे। इसके बाद विधायक के कहने पर परिवार के लोग अनुरुद्ध का शव सई नदी किनारे अंतिम संस्कार के लिए ले गए। इस घटना में पूर्व ब्लाक प्रमुख शिवगढ़ रमाकांत दुबे व उनके बेटों विनोद दुबे और आदर्श दुबे सहित नौ लोगों को नामजद किया गया है जबकि आठ-10 अज्ञात लोग भी बताए गए हैं। पुलिस का कहना है कि छापेमारी की जा रही है।