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तस्‍कर अवैध शराब सप्‍लाई का ट्रेंड बदलकर पुलिस को दे रहे हैं चकमा Prayagraj News

अवैध शराब संग कई लोगों की गिरफ्तारी होने पर तस्करों को ज्यादा नुकसान होता था। एक तरफ जहां उनके गिरोह के सदस्य कम हो जाते थे। जमानत में अधिक पैसा खर्च करना पडता है।

By Brijesh SrivastavaEdited By: Published: Tue, 18 Feb 2020 11:22 AM (IST)Updated: Tue, 18 Feb 2020 03:09 PM (IST)
तस्‍कर अवैध शराब सप्‍लाई का ट्रेंड बदलकर पुलिस को दे रहे हैं चकमा Prayagraj News
तस्‍कर अवैध शराब सप्‍लाई का ट्रेंड बदलकर पुलिस को दे रहे हैं चकमा Prayagraj News

प्रयागराज,जेएनएन। होली के नजदीक आते ही एक बार फिर अवैध शराब की तस्करी तेज हो गई है। मगर तस्करों ने अब शराब की सप्लाई के लिए पुराने ट्रेंड को बदलकर नया तरीका इजाद किया है। इसके तहत एक ही ड्राइवर के सहारे पूरी खेप रहती है। ड्राइवर अकेले ही ट्रक में शराब लेकर हरियाणा, मध्य प्रदेश समेत दूसरे राज्यों से प्रयागराज सहित आसपास के जनपदों में आता है। फिर लोकेशन तय कर शराब की डिलीवरी की जाती है। ऐसा गिरफ्तारी से बचने के लिए किया जा रहा है। तस्करों के इस जतन से पुलिस अधिकारी भी हैरत में हैं।

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एक ड्राइवर के भरोसे होती है पूरी खेप की डिलीवरी

स्पेशल टॉस्क फोर्स (एसटीएफ) ने पिछले आठ फरवरी को 11 सौ पेटी अवैध शराब के साथ पंजाब निवासी ट्रक ड्राइवर जसविंदर सिंह उर्फ कक्का को गिरफ्तार किया था। बीते माह भी मध्य प्रदेश के इंदौर निवासी जसवंत सिंह को 974 पेटी अवैध शराब संग दबोचा था। पुलिस और आबकारी की टीम भी केवल चालक के साथ ही अवैध शराब बरामद कर चुकी है। शातिर तस्कर ड्राइवर को केवल जिले का नाम बताते हैं। वहां पहुंचने पर खुद बात करके संबंधित व्यक्ति को जानकारी देते हैं। फिर स्थानीय तस्कर ट्रक ड्राइवर के पास पहुंचकर कोड बताता है और शराब उतरवा लेता है। करीब छह माह पहले तक यह ट्रेंड नहीं था। एक ट्रक में कम से कम दो ड्राइवर और एक खलासी जरूर रहता था। कभी-कभी ट्रक के साथ कार सवार कुछ तस्कर भी चलते थे, लेकिन अब ऐसा नहीं है।

नुकसान से बचने के लिए तस्‍करों ने यह तरीका अपनाया

पुलिस अधिकारियों का दावा है कि अवैध शराब संग कई लोगों की गिरफ्तारी होने पर तस्करों को ज्यादा नुकसान होता था। एक तरफ जहां उनके गिरोह के सदस्य कम हो जाते थे, वहीं गिरफ्तार लोगों की जमानत लेने से लेकर उन्हें जेल से छुड़वाने के लिए पैसा भी अधिक खर्चा करना पड़ता था। एसटीएफ के एडिशनल एसपी नीरज पांडेय ने बताया कि यह बात सही है कि तस्करों ने अपना ट्रेंड बदल दिया है। अब केवल ड्राइवर के जरिए शराब भिजवाते हैं, ताकि उनके गिरोह के सदस्यों की गिरफ्तारी न हो सके।


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